जिंदल इस्पात ने वापस लिया जनसुनवाई का आवेदन, हिंसा के बाद फैसला

जिंदल इस्पात ने गारे पेल्मा सेक्टर-1 कोयला खदान की जनसुनवाई का आवेदन वापस लेने का फैसला किया है। इसके लिए कंपनी प्रंबंधन ने रायगढ़ कलेक्टर को पत्र लिखकर निवेदन किया है।

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VINAY VERMA
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Raigarh. जिंदल इस्पात ने गारे पेल्मा सेक्टर-1 कोयला खदान की जनसुनवाई का आवेदन वापस लेने का फैसला किया है। इसके लिए कंपनी प्रंबंधन ने रायगढ़ कलेक्टर को पत्र लिखकर निवेदन किया है। जिसमें कहा गया है कि जिंदल ग्रुप जनभावनाओं का आदर करती है और इसके बिना कोई फैसला नहीं लिया जाएगा।

बता दें कि कलेक्टर और कंपनी प्रबंधन की तरफ से 28 दिसंबर को जनसुनवाई की जानी थी। बवाल होने के कारण यह जनसुनवाई नहीं हो सकी और अब प्रबंधन ने इसे रोकने का फैसला किया है।

जिंदल इस्पात का बयान

रायगढ़ कलेक्टर को लिखे पत्र में जिंदल ग्रुप ने कहा है कि ग्रुप जनभावनाओं का सदैव ही आदर करता रहा है और यहाँ पर परिस्थितियों को देखते हुए हम जनसुनवाई के आवेदन को वापिस लेने का निर्णय लेते हैं। हम सबको यह आश्वस्त करना चाहते हैं की जब तक ग्राम वासियों का इस संदर्भ में समर्थन नहीं रहेगा।

तब तक हम इस दिशा में कोई कार्यवाही नहीं करेंगे। अगर भविष्य में जन भावनाएं इसके प्रति अनुकूल रहेगा तब हम जनसुनवाई के लिए पुनः आवेदन प्रस्तुत करेंगे।

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क्या हुआ था 8 दिसंबर को?

8 दिसंबर 2025 को गारे पेल्मा सेक्टर-1 कोयला खदान की जनसुनवाई हुई थी। इसके बाद ग्राम वासियों ने 12 दिसंबर से धरना शुरू कर दिया था। 27 दिसंबर 2025 को यहाँ पर काफी हिंसा हुई जिसमे पुलिस एवं जिंदल इस्पात के लोगों पर जानलेवा हमला हुआ।

इस दौरान स्थानीय थाना प्रभारी कमलाा पुसाम सहित को कई को गंभीर चोटे आई। इसके अलावा जिंदल इस्पात के कोल हैंडिलिंग प्लांट में आगजनी की गई जिससे कंपनी को भारी क्षति हुई।

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कलेक्टर का फैसला

इस घटना के बाद कलेक्टर रायगढ़ ने 28 दिसंबर 2025 को उक्त जनसुनवाई को निरस्त करने बाबत पत्र लिखा था। जनसुनवाई नहीं होने के बाद जिंदल ग्रुप के प्रबंधन ने इसे टालने का फैसला लिया है और कलेक्टर को पत्र लिखकर अपने पुराने आवेदन को वापस लेने के लिए कहा है।

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