/sootr/media/media_files/2025/10/12/dsp-sala-bhopal-2025-10-12-11-15-09.jpg)
Bhopal. मध्यप्रदेश की राजधानी भोपाल में डीएसपी केतन अडलक के साले उदित गायकी की मौत मामले ने सनसनी फैला दी है। पुलिसकर्मियों की पिटाई के चलते युवक की मौत हो गई थी। आरोपी पुलिस आरक्षक संतोष बामनिया और सौरभ आर्य पर हत्या का मामला दर्ज कर लिया गया है। घटना के बाद से ही दोनों पुलिसकर्मी फरार थे। हालांकि, इन दोनों पुलिसकर्मी को शनिवार (11 अक्टूबर) देर रात को गिरफ्तार कर लिया गया।
इससे पहले दोनों पुलिसकर्मी को निलंबित कर दिया गया था। हालांकि, अब पूरे मामले को लेकर एफआईआर में बड़ा खुलासा हुआ है। इसे जानकर आप हैरान रह जाएंगे।
सीसीटीवी फुटेज और पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट में यह खुलासा
घटना की सीसीटीवी फुटेज और पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट यह खुलासा कर रहे हैं कि उदित की मौत पेट पर डंडे मारने और शारीरिक ट्रॉमा के चलते हुई है। गुरुवार देर रात जब उदित गायकी अपने दोस्त के साथ घूम रहा था। तभी दोनों कांस्टेबल संतोष बामनिया और सौरभ आर्य ने उसे डंडे से जमकर पीटा। इसके चलते उदित की मौत हो गई।
10 हजार रुपए की डिमांड, विरोध पर मारपीट
पीड़ित परिवार और गवाहों के अनुसार, पुलिसकर्मियों ने युवकों को जेल भेजने की धमकी दी थी। साथ ही केस रफा-दफा करने के लिए 10 हजार रुपए मांगे थे। जब युवकों ने पैसे नहीं दिए गए, तो बेरहमी से मारपीट की गई। डीसीपी विवेक सिंह ने बताया कि दोनों आरोपी आरक्षक निलंबित किए गए हैं। उनके खिलाफ हत्या की धाराओं में FIR दर्ज कर ली गई है। गिरफ्तारी की कार्रवाई जारी है।
पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट में निकलीं 16 गंभीर चोटें
पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट बताती है कि उदित को पेट में गंभीर चोटें, आंख व माथे पर घाव और पेनक्रियाज डैमेज मिला। मौत की वजह शारीरिक ट्रॉमा और आंतरिक चोटें रहीं।
डीएसपी के साले की मौत मामले वाली खबर पर एक नजर
|
एफआईआर में पुलिस वालों को बचाने की कोशिश
पूरे घटनाक्रम पर मुख्यमंत्री मोहन यादव ने भी नाराजगी जताई। इसके बाद पिपलानी पुलिस के दो पुलिसकर्मियों संतोष बामनिया और सौरभ आर्य के खिलाफ हत्या का केस दर्ज किया गया। एफआईआर में पुलिसवालों को बचाने की कोशिश की गई है।
बेरहमी से पीटने वाली बात ही गायब
मामले पर एडवोकेट डॉ. विजय चौधरी ने कहा कि उदित के दोस्त दीपेश बरकड़े के बयान पर पुलिस ने मामला दर्ज किया है। पुलिस की रिपोर्ट से उदित को बेरहमी से पीटने वाली बात गायब है।
कानून के मुताबिक, एफआईआर में उस बात को लिखा जाता है, जो फरियादी ने बताई है। यानी उसके साथ क्या-क्या हुआ, आरोपियों ने क्या किया। लेकिन एफआईआर में मृतक और उसके दोस्तों को ही शराब के नशे में बताया गया है।
एफआईआर में पुलिसकर्मियों ने बताया कि रात 1:30 से 2 बजे के बीच इंद्रपुरी में एक लाल कार संदिग्ध हालत में खड़ी थी। कार में दो लड़के बैठे थे। वहीं, एक लड़का बाहर खड़ा था। इस दौरान सभी लड़के नशे की हालत में थे।