/sootr/media/media_files/2025/11/25/ajjaks-2025-11-25-20-15-01.jpg)
Photograph: (THESOOTR)
BHOPAL. मध्य प्रदेश अनुसूचित जाति एवं जनजाति अधिकारी कर्मचारी संघ (अजाक्स) का बयान आया है। इसमें कहा है कि संगठन का न तो स्वयंभू प्रांताध्यक्ष माने जा रहे आईएएस जेएन कंसोटिया से कोई संबंध है और न ही उनके द्वारा नियुक्त “फर्जी प्रांताध्यक्ष” आईएएस संतोष वर्मा से। संगठन का आरोप है कि दोनों लोग अजाक्स के नाम पर सामाजिक सौहार्द बिगाड़ने की कोशिश कर रहे हैं।
अमर्यादित भाषा पर कड़ा रिएक्शन
अजाक्स के वैधानिक प्रांताध्यक्ष चौधरी मुकेश मौर्य ने कहा कि किसी भी समाज की बहन-बेटियों को अपमानित करने वाले लोगों से संगठन का कोई नाता नहीं। उन्होंने कहा कि संतोष वर्मा द्वारा महिलाओं पर की गई अभद्र टिप्पणी न सिर्फ असंवैधानिक है बल्कि सामाजिक ताने-बाने पर सीधा आघात है।
ये खबर भी पढ़ें...
IAS संतोष वर्मा पहले भी रहे सुर्खियों में
IAS संतोष वर्मा पहले भी कई विवादों में घिर चुके हैं। कई मौकों पर उनके बयान, सामाजिक संवेदनशीलता के विपरीत टिप्पणियां और प्रशासनिक कार्यशैली आलोचना का विषय रही है।
इन्हीं पुराने विवादों के कारण उनका नाम बार-बार नकारात्मक संदर्भों में सामने आता रहा है। अजाक्स का कहना है कि ऐसे व्यक्ति को संगठन से जोड़ना जानबूझकर भ्रम फैलाने जैसा है।
अजाक्स के प्रांतीय महासचिव का आरोप
कंसोटिया का उद्देश्य संगठन को हड़पना और अंदरूनी हित साधना प्रांतीय महासचिव इंजीनियर एसडी वंशकार ने कहा कि कंसोटिया लंबे समय से अजाक्स के नाम का दुरुपयोग कर रहा है।
वंशकार का आरोप है कि कंसोटिया ने पहले संगठन के होल्ड खाते से बैंक अधिकारियों के सहयोग से लगभग 65 लाख रुपए निकालने की कोशिश की। साथ ही अजाक्स भवन पर आजीवन नियंत्रण पाने के लिए स्वयं को संरक्षक घोषित करने की योजना भी बनाई गई।
ये खबर भी पढ़ें...
अवैध आमसभा और अप्रत्याशित घटना
डॉ. अंबेडकर मैदान में सभा कर विवाद को हवा दी गई अजाक्स ने बताया कि कंसोटिया ने बिना अनुमति के डॉ. अंबेडकर मैदान, तुलसी नगर, भोपाल में आमसभा आयोजित कर नियमों का उल्लंघन किया।
यही नहीं उसी मंच से IAS संतोष वर्मा द्वारा बहन-बेटियों पर की गई विवादित टिप्पणी ने मामले को और गंभीर बना दिया। संगठन का कहना है कि यह पूरा घटनाक्रम योजनाबद्ध तरीके से सामाजिक तनाव पैदा करने की कोशिश जैसा प्रतीत होता है।
सामाजिक ताना-बाना बिगाड़ने की कोशिश
संतोष वर्मा का यह कथन कि जब तक ब्राह्मण अपनी बेटी को मेरे बेटे को दान नहीं कर देता या उससे संबंध नहीं बना लेता, तब तक आरक्षण जारी रहना चाहिए” न सिर्फ अमर्यादित है बल्कि समाज को बांटने वाला है। अजाक्स का कहना है कि इस तरह की भाषा किसी भी सभ्य समाज का हिस्सा नहीं हो सकती।
ये खबर भी पढ़ें...
मध्यप्रदेश में अजाक्स विवाद: दो-दो अध्यक्ष! कौन असली, कौन फर्जी?
संगठन सामाजिक समरसता के लिए प्रतिबद्ध
अजाक्स के प्रांताध्यक्ष चौ. मुकेश मौर्य ने कहा कि संगठन हमेशा सभी वर्गों को साथ लेकर चलने की नीति पर काम करता है। इसी विश्वास के कारण उन्हें सर्वसम्मति से “मध्य प्रदेश अधिकारी-कर्मचारी संयुक्त मोर्चा” का प्रदेश उपाध्यक्ष भी चुना गया है। उन्होंने कहा कि अजाक्स किसी प्रकार की असामाजिक गतिविधि या विवादित बयानों का समर्थन नहीं करता।
ये खबर भी पढ़ें...
विवादित बयान की कड़ी निंदा
अजाक्स संगठन ने दोहराया कि संतोष वर्मा को फर्जी प्रांताध्यक्ष घोषित किया जाता है और उनका संगठन से कोई नाता नहीं। संगठन ने उनके विवादित बयान की कड़े शब्दों में निंदा करते हुए कहा कि ऐसी सोच समाज को बांटने वाली है। अजाक्स ने प्रशासन से भी आग्रह किया कि ऐसी गतिविधियों पर कड़ी कार्रवाई की जाए ताकि सामाजिक सद्भाव बना रहे।
/sootr/media/agency_attachments/dJb27ZM6lvzNPboAXq48.png)
Follow Us