इंदौर में रैगिंग पर लगाम फेल, अब डेंटल कॉलेज में भी सीनियर ने जूनियर को बनाया शिकार

इंदौर के एमजीएम मेडिकल कॉलेज के बाद अब डेंटल कॉलेज में रैगिंग का मामला गरमाया है। जूनियर छात्रों ने सीनियर छात्राओं के खिलाफ प्रताड़ना की गंभीर शिकायत दर्ज कराई थी।

author-image
Rahul Dave
New Update
indore-dental-college-ragging-case-senior-students-suspended
Listen to this article
0.75x1x1.5x
00:00/ 00:00

Indore: एमजीएम मेडिकल कॉलेज के बाद अब डेंटल कॉलेज की इस घटना से हड़कंप मचा है। इंदौर के डेंटल कॉलेज में जूनियर छात्रों के साथ रैगिंग का नया मामला सामने आया है। 

यूजीसी के एंटी-रैगिंग पोर्टल पर सीनियर छात्राओं के खिलाफ नामजद शिकायत दर्ज कराई गई थी। कॉलेज प्रबंधन ने जांच के बाद दोषी तीन सीनियर छात्राओं को तुरंत सस्पेंड कर दिया है।

इन सभी छात्राओं को अगले 15 दिनों के लिए कॉलेज से निष्कासित किया गया है। प्रबंधन ने कैंपस में अनुशासन बनाए रखने के लिए यह सख्त अनुशासनात्मक कार्रवाई की है।

शिकायत में ये कहा

मामला एमडीएस प्रथम वर्ष के विद्यार्थियों से जुड़ा है। जूनियर्स ने शिकायत में आरोप लगाया है कि सीनियर छात्राएं उन्हें रोजाना तय समय से पहले कॉलेज बुला लेती थीं।

शाम को भी देर तक बैठाए रखती थीं। यहां तक कि कॉलेज की छुट्टी के बाद भी उन्हें बाहर जाने की अनुमति नहीं दी जाती थी। छात्रों का कहना है कि इस व्यवहार से वे लगातार मानसिक दबाव में थे। उनकी पढ़ाई प्रभावित हो रही थी।

ये खबर भी पढ़ें...

छतरपुर जिला अस्पताल में बच्चों की मौत पर बड़ा सवाल, 8 महीनों में 409 की मौत

दोनों पक्षों ने रैगिंग से इनकार किया

शिकायत सामने आते ही कॉलेज की एंटी रैगिंग कमेटी हरकत में आई। कमेटी ने जूनियर और सीनियर दोनों पक्षों को बुलाकर बयान दर्ज किए। दिलचस्प बात ये रही कि जांच में दोनों पक्षों ने रैगिंग से इनकार किया है। 

शिकायत लिखित, नामजद और सीधे यूजीसी पोर्टल पर की गई थी। इसलिए प्रबंधन ने इसे हल्के में लेने के बजाय अनुशासनात्मक कार्रवाई का रास्ता चुना। जांच के बाद तीन सीनियर छात्राओं को 15 दिनों के लिए निलंबित किया गया है।

साथ ही उनसे लिखित आश्वासन भी लिया गया कि भविष्य में इस तरह की कोई गतिविधि दोहराई नहीं जाएगी। कॉलेज प्रबंधन का मानना है कि ऐसे मामलों में सख्त संदेश देना जरूरी है, ताकि जूनियर छात्रों में डर का माहौल न बने।

ये खबर भी पढ़ें...

कार्यक्रम के नाम पर सौदेबाजी? प्रभारी मंत्री तुलसी सिलावट के वायद ने बढ़ाई भाजपा की मुश्किल

नियम का सख्ती से कर रहे पालन

कॉलेज की प्राचार्य अलका गुप्ता के मुताबिक, एंटी-रैगिंग नियमों का सख्ती से पालन किया जा रहा है। किसी भी स्तर पर शिकायत मिलने पर तत्काल जांच और आवश्यक कार्रवाई की जाती है। ताकि छात्रों को सुरक्षित शैक्षणिक माहौल मिल सके।

लगातार सामने आ रहे मामले

गौरतलब है कि इंदौर में बीते दो महीने में रैगिंग की यह चौथी शिकायत है। इससे पहले एमजीएम मेडिकल कॉलेज में गंभीर मानसिक उत्पीड़न के मामले सामने आए थे। एमजीएम मेडिकल कॉलेज रैगिंग केस में निजी फ्लैट में बुलाकर मारपीट और जबरन डांस करने के आरोप भी थे। इसके अलावा शराब पिलाने जैसे आरोप भी सामने आए थे।

लगातार सामने आ रहे ये मामले अब सवाल खड़े कर रहे हैं। क्या शहर के मेडिकल और डेंटल कॉलेजों में रैगिंग पर लगाम लगाने के लिए मौजूदा सिस्टम वाकई काफी है, या फिर अब और सख्त कदम उठाने की जरूरत है।

ये खबर भी पढ़ें...

MP Top News : मध्य प्रदेश की बड़ी खबरें

MP बाल श्रवण योजना घोटाला : प्रमुख सचिव ने खारिज की अपील, अब आरोपी अफसर को भरने होंगे 8.96 लाख रुपए

इंदौर रैगिंग एमजीएम मेडिकल कॉलेज एंटी रैगिंग कमेटी एंटी-रैगिंग पोर्टल
Advertisment