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INDORE. मध्यप्रदेश में मतदाता सूची के शुद्धीकरण और डिजिटलीकरण का काम SIR के तहत चल रहा है। अब तक 77 फीसदी काम पूरा हो चुका है। यानी 5.70 करोड़ मतदाताओं में से 4.42 करोड़ के सर्वे और डिजिटलीकरण का काम हो चुका है।
प्रपत्र के चलते शुरुआत धीमी हुई। इसके बाद चुनाव आयोग के जरिए कलेक्टर तक पर कार्रवाई की चेतावनी दी गई। इसके चलते इसमें तेजी पकड़ ली है। प्रतिशत के हिसाब से इंदौर अभी भी नीचे से दूसरे नंबर पर है। वहीं, मतदाता संख्या के लिहाज से उसने पूरे एमपी में सभी को पीछे कर दिया है।
इंदौर ने सबसे ज्यादा किया काम
इंदौर कलेक्टर शिवम वर्मा के मैदान में उतरने के बाद बीते 10 दिनों में तेजी पकड़ ली है। इंदौर प्रतिशत में 52 फीसदी काम पूरा करके भोपाल (49.60 फीसदी) के बाद नीचे से दूसरे स्थान पर है।
वहीं, मतदाता संख्या की बात करें तो उसके जितना काम किसी ने नहीं किया है। इंदौर में 14.97 लाख मतदाताओं के प्रपत्र लेकर डिजिटलीकरण का काम पूरा हो चुका है। इंदौर में कुल 28.67 लाख मतदाता हैं।
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अशोकनगर, बैतूल और सीहोर यहां आगे
वहीं, प्रतिशत के हिसाब से देखें तो एमपी में अशोकनगर जिला अपना 100 फीसदी काम पूरा करने की कगार पर है। यहां 94 फीसदी काम हो चुका है। इसके बाद बैतूल में 90.56 फीसदी और सीहोर में 90.25 फीसदी काम पूरा हो चुका है। वहीं, 50 फीसदी से कम काम में केवल अब भोपाल है।
इंदौर में एसआईआर की खबर पर एक नजर...
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इंदौर में ग्रामीण विधानसभाएं आगे
इंदौर जिले में सबसे आगे ग्रामीण विधानसभाएं हैं। सांवेर में करीब 72 फीसदी काम हो चुका है, तो वहीं देपालपुर में 65 और महू में 62 फीसदी। सबसे पीछे अभी विधानसभा दो है। यहां 39 फीसदी काम हुआ है।
इसके बाद विधानसभा चार में 41 फीसदी, इंदौर एक में करीब 43 फीसदी, राउ और इंदौर पांच में करीब 44-44 फीसदी, और इंदौर तीन में करीब 47 फीसदी काम हो चुका है।
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रात को एप तेज चलता है, जाग रहे अधिकारी
चुनाव आयोग के एप पर सभी फार्म अपलोड करना है। इसके लिए सभी एसडीएम ने अपने जिम्मे की विधानसभा में ऑपरेटर बैठाए हुए हैं। एप रात में बेहतर चलता है, ऐसे में एसडीएम, तहसीलदार रात भर जागकर इन्हें अपलोड कराने का काम कर रहे हैं।
क्योंकि अपलोड के लिए बीएलओ के ओटीपी लगते हैं, इसलिए रात में वह भी जाग रहे हैं। साथ ही, ऑपरेटर को ओटीपी बताकर फार्म भरवा रहे हैं। इसके चलते जिला प्रशासन ने बाकी काम लगभग ठप कर दिए हैं। दिन-रात सभी SIR के लिए भिड़े हुए हैं।
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