16 साल से नहीं बढ़ी एमपी कर्मचारियों की त्योहार अग्रिम राशि! कर्मचारी संघ ने CM और मुख्य सचिव को लिखा पत्र

मध्य प्रदेश के तृतीय और चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों ने 16 साल से स्थिर त्योहार अग्रिम राशि में बढ़ोतरी की मांग की है। वे इसे बढ़ाकर 4,000 रुपए से 10 हजार रुपए करने की अपील कर रहे हैं, जैसा कि छत्तीसगढ़ सरकार ने किया है।

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Sandeep Kumar
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मध्य प्रदेश में तृतीय और चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों ने मुख्यमंत्री और मुख्य सचिव को पत्र लिखा है। सीएम को लिखे गए इस लैटर में कर्मचारियों ने त्योहार अग्रिम राशि को 4000 से बढ़ाकर 10 हजार रुपए करने की मांग की है।

यह मांग महंगाई और त्योहारों में बढ़ते खर्च को देखते हुए की गई है। तृतीय वर्ग कर्मचारी संघ के महामंत्री उमाशंकर तिवारी का कहना है कि 16 साल पहले तय की गई राशि अब अपर्याप्त हो चुकी है, खासकर महंगाई के कारण।

10 हजार रुपए अग्रिम राशि की मांग

कर्मचारी संगठनों का कहना है कि छत्तीसगढ़ की तरह मध्य प्रदेश में भी कर्मचारियों को 10 हजार रुपए का त्योहार अग्रिम राशि दिया जाए। उनका मानना है कि इससे कर्मचारियों को आर्थिक राहत मिलेगी और महंगाई से निपटना आसान होगा। इसके अलावा, यह कर्मचारियों के बढ़े हुए खर्चों को सही तरीके से प्रबंधित करने में मदद करेगा।

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कर्मचारियों की लंबे समय से चली आ रही मांग

मध्य प्रदेश के तृतीय और चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों को वर्तमान में 4000 रुपए का त्योहार अग्रिम मिलता है, जो पिछले 16 सालों से नहीं बढ़ा है। यह राशि 2003 में 1000 से बढ़कर 4000 रुपए हुई थी, लेकिन अब तक इसमें कोई वृद्धि नहीं की गई है। तृतीय वर्ग कर्मचारी संघ के महामंत्री उमाशंकर तिवारी का कहना है कि महंगाई और त्योहारों में बढ़ते खर्च के कारण यह राशि अब अपर्याप्त हो गई है।

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छत्तीसगढ़ सरकार का उदाहरण

कर्मचारियों ने अपनी मांग में छत्तीसगढ़ सरकार का उदाहरण दिया। 2022 से छत्तीसगढ़ ने अपने तृतीय और चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों को 10 हजार रुपए का त्योहार अग्रिम देने का निर्णय लिया था। कर्मचारियों का कहना है कि मध्य प्रदेश में भी छत्तीसगढ़ की तरह यह राशि बढ़ाई जानी चाहिए।

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महंगाई के दौर में अग्रिम की बढ़ी हुई आवश्यकता

कर्मचारियों का कहना है कि महंगाई के चलते त्योहारों पर घर-परिवार का खर्च लगातार बढ़ रहा है। ऐसे में 4000 रुपए की राशि उनके खर्चों का सही तरीके से प्रबंधन करने के लिए अपर्याप्त साबित हो रही है। तृतीय वर्ग कर्मचारी संघ के महामंत्री उमाशंकर तिवारी ने बताया कि 1998 में यह राशि 600 रुपए थी, जिसे 2003 में 1000 रुपए और 2009 में 4000 रुपए कर दिया गया था। इस बीच महंगाई कई गुना बढ़ चुकी है, लेकिन राशि में कोई वृद्धि नहीं की गई है।

इन त्योहारों पर मिलती है अग्रिम राशि

त्योहार अग्रिम राशि कर्मचारियों को प्रमुख त्योहारों जैसे गणतंत्र दिवस, स्वतंत्रता दिवस, होली, रक्षाबंधन, ईद-उल-जुहा, ईद-उल-फितर, दशहरा, दीपावली और क्रिसमस पर दी जाती है। यह राशि सरकार द्वारा ब्याज सहित कर्मचारियों से वसूली जाती है और वसूली 10 किस्तों में 6.50 प्रतिशत ब्याज दर पर होती है। कर्मचारियों का कहना है कि यह राशि सरकार पर अतिरिक्त वित्तीय बोझ नहीं डालती, क्योंकि ब्याज सहित यह राशि लौटाई जाती है।

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