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Photograph: (thesootr)
प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना (PM-Kisan) का उद्देश्य भारतीय किसानों को सीधे वित्तीय सहायता प्रदान करना है। इस योजना में हर किसान को सालाना 6,000 रुपए की सहायता दी जाती है, जो तीन किस्तों में 2,000-2,000 रुपए के रूप में उनके बैंक खातों में ट्रांसफर की जाती है।
अब तक सरकार 20 किस्तों में लगभग 3.90 लाख करोड़ रुपए किसानों को दे चुकी है। लेकिन, कई बार तकनीकी खामियों और गलत जानकारी के कारण किसानों को समय पर किस्त नहीं मिल पाई। इस बार, सरकार ने बैंक और राज्यों को सख्त निर्देश दिए हैं, ताकि 21वीं किस्त समय पर पहुंच सके।
किसानों के जीवन में योजना का महत्व
प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना की शुरुआत 24 फरवरी 2019 को हुई थी। पीएम किसान योजना (PM Kisan Yojana) किसानों के लिए एक बड़ी राहत साबित हो रही है, क्योंकि देश के अधिकतर किसानों की आर्थिक स्थिति कमजोर है। सरकार के इस कदम से किसानों को सुनिश्चित वित्तीय सहायता मिलती है, जिससे वे खेती के खर्चे और दैनिक जीवन की जरूरतों को पूरा कर सकते हैं।
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भुगतान में आई रुकावटें
पिछली किस्तों में आधार कार्ड लिंकिंग, अधूरी KYC और खाता संबंधी गलत जानकारी के कारण किसानों के खातों में पैसा समय पर नहीं पहुंच सका। इनमें से सबसे बड़ी समस्या आधार लिंकिंग और अधूरी KYC की थी। इन समस्याओं के कारण बड़ी संख्या में किसानों को समय पर किस्त नहीं मिली।
सरकार और बैंकों ने शुरू की पहल
इस बार सरकार ने बैंकों और राज्य सरकार को सख्त निर्देश दिए हैं कि किसानों के खाते की सभी समस्याओं का समाधान शीघ्र किया जाए। सरकार ने एक विशेष पहल शुरू की है, जिसमें बैंकों को किसानों से सीधे संपर्क करने और उनकी समस्याओं को सुलझाने का निर्देश दिया गया है। इसके साथ ही, बैंक अधिकारियों को KYC प्रक्रिया पूरी करने, बंद खातों को ठीक करने और सही जानकारी प्रदान करने में मदद करने के लिए विशेष ट्रेनिंग दी जा रही है।
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वित्तीय समावेशन अभियान
केंद्र सरकार ने 1 जुलाई 2025 से तीन महीने का वित्तीय समावेशन अभियान शुरू किया है। इस अभियान का उद्देश्य किसानों को बैंकिंग सेवाओं से जोड़ना है। अब तक इस अभियान के तहत देशभर में 1 लाख से अधिक कैंप लगाए गए हैं, जिनमें किसानों को जनधन खाते खोलने, बीमा योजनाओं में शामिल होने और पीएम-किसान योजना से जुड़ी सभी प्रक्रियाओं को पूरा करने में मदद दी जा रही है।
नवंबर-दिसंबर में आएगी 21वीं किस्त
सरकार ने 20वीं किस्त 2 अगस्त 2025 को किसानों के खातों में भेजी थी। अब सभी किसान 21वीं किस्त का इंतजार कर रहे हैं। उम्मीद की जा रही है कि नवंबर-दिसंबर 2025 में यह किस्त किसानों के खाते में पहुँच जाएगी।
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सख्त निर्देश के बाद भी रुक सकती है किस्त?
सरकार के सख्त निर्देशों के बावजूद, कुछ बैंकिंग तकनीकी खामियों और किसानों द्वारा गलत जानकारी देने के कारण समस्याएं हो सकती हैं। हालांकि, सरकार और बैंक अधिकारियों द्वारा समय-समय पर इस प्रक्रिया की निगरानी की जा रही है, ताकि कोई भी किसान किसी भी प्रकार से वंचित न रहे।
KYC क्या है? (What is KYC?)
KYC का मतलब है "Know Your Customer" यानी "अपने ग्राहक को जानें"। यह एक प्रक्रिया है जिसमें बैंकों और वित्तीय संस्थाओं को यह जानकारी प्राप्त होती है कि उनके ग्राहक कौन हैं और उनका खाता सही तरीके से सक्रिय है। पीएम किसान योजना के तहत, KYC प्रक्रिया में किसानों को अपना पहचान पत्र, सही बैंक खाता विवरण, और आधार कार्ड के साथ बैंक में जानकारी प्रदान करनी होती है।
KYC प्रोसेस के लिए आवश्यक दस्तावेज...
किसान को अपनी KYC पूरी करने के लिए कुछ दस्तावेजों की आवश्यकता होती है-
आधार कार्ड (Aadhaar Card) – किसानों का आधार कार्ड लिंक होना चाहिए।
बैंक खाता विवरण (Bank Account Details) – बैंक खाता संख्या, शाखा का नाम, IFSC कोड आदि की जानकारी।
फोटो (Photograph) – एक हालिया पासपोर्ट साइज फोटो।
कृषि भूमि से संबंधित दस्तावेज (Agriculture Land Documents) – अगर आवश्यक हो तो खेत की जानकारी।
KYC प्रक्रिया को पूरा करने के चरण...1. बैंक या ग्राम पंचायत के कैंप में जाएं (Visit Bank or Gram Panchayat Camps)किसानों को अपनी KYC प्रक्रिया पूरी करने के लिए सबसे पहले बैंक या स्थानीय ग्राम पंचायत द्वारा आयोजित कैंप में जाना चाहिए। सरकार ने इस उद्देश्य के लिए 1 लाख से अधिक कैंप आयोजित किए हैं, जहां किसानों को अपनी KYC प्रक्रिया पूरी करने का अवसर मिलता है। 2. आधार कार्ड को लिंक करें (Link Aadhaar Card)किसान को सबसे पहले अपने आधार कार्ड को अपने बैंक खाते से लिंक करना होता है। यह प्रक्रिया अब अधिकांश बैंकों में ऑनलाइन और ऑफलाइन दोनों तरीकों से उपलब्ध है। किसान अपने नजदीकी बैंक शाखा में जाकर या ऑनलाइन अपनी आधार संख्या को बैंक खाते से जोड़ सकते हैं। 3. बैंक खाता की जानकारी प्रदान करें (Provide Bank Account Details)किसान को अपने बैंक खाते की जानकारी सही रूप में बैंक में जमा करनी होती है। इसमें बैंक खाता संख्या, IFSC कोड, और शाखा का नाम शामिल होता है। अगर किसान का खाता बंद या फ्रीज है, तो उसे पहले ठीक कराना होगा। 4. KYC दस्तावेज जमा करें (Submit KYC Documents)किसान को अपनी पहचान के प्रमाण के रूप में आधार कार्ड और अन्य दस्तावेज़ बैंक को जमा करने होते हैं। कुछ बैंकों में यह प्रक्रिया ऑनलाइन भी की जा सकती है, जहां किसान मोबाइल या कंप्यूटर के माध्यम से अपनी जानकारी अपलोड कर सकते हैं। 5. KYC का सत्यापन (Verification of KYC)किसान द्वारा सभी दस्तावेज जमा करने के बाद, बैंक अधिकारी इनका सत्यापन करते हैं। एक बार सत्यापन पूरा होने के बाद, किसान की KYC प्रक्रिया सफलतापूर्वक पूरी हो जाती है। |
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