अरविंद शर्मा, BHOPAL. भोपाल में सोम डिस्टलरी के बिजनेस पार्टनर ( Som Distillery ) राधेश्याम सेन ने कार में जहर पीकर आत्महत्या कर ली। सुसाइड के पहले राधेश्याम ने एक वीडियो बनाकर पत्नी को भेजा। वीडियो में पार्टनरशिप के पैसे नहीं मिलने और कर्ज में डूबे होने की बात का जिक्र किया है। राधेश्याम ने सोम डिस्टलरी के संचालकों पर गंभीर आरोप ( Accusations against Som distillery operators ) लगाए हैं। अब पूरे मामले में टीटी नगर थाना पुलिस जांच कर रही है। वहीं, शनिवार को भदभदा मुक्तिधाम पर राधेश्याम का अंतिम संस्कार किया गया।
जीवन भर किया संघर्ष, नहीं मानी हार
दो दशक पहले दतिया के कुईया मोहल्ले से भोपाल आए राधेश्याम सेन पुत्र भोलाराम सेन ने भीम नगर की झुग्गी से संघर्ष भरे जीवन की शुरूआत की थी। उन्होंने अपने जीवन में संघर्ष और तंगहाली से कभी हार नहीं मानी। आरोप लगाया जा रहा है कि सोम डिस्टलरी कंपनी के मालिकों की धोखाधड़ी की वजह से लाखों के कर्ज ने 52 वर्षीय राधेश्याम सेन को आत्महत्या करने पर मजबूर कर दिया। शनिवार को नीलबड़ क्षेत्र में विशाल नगर स्थित घर पर उनकी अंतिम यात्रा में बड़ी संख्या में लोग जुटे थे।
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सुसाइड से पत्नी को भेजा वीडियो, बताई अपनी पीड़ा
टीटी नगर थाना क्षेत्र में कार में जहर पीने से पहले राधेश्याम ( Radheshyam Sen suicide case ) ने अपने साथ हुई धोखाधड़ी को लेकर वीडियो बनाया और पत्नी नीता सेन को मोबाइल पर भेजा। मीडिया रिपोर्ट्स में बताया जा रहा है कि वीडियो में उन्होंने कहा है कि सोम डिस्टलरी द्वारा 2003 में मुझे पार्टनरशिप दी गई थी। इसका उन्हें कोई लाभांश नहीं दिया गया। सोरबिन कंपनी को पूरा भुगतान जाता था, जिसके संचालक जगदीश अरोरा, अनिल अरोरा और अजय अरोरा हैं। साल 2022 में मुझे 15 लाख रुपए देकर चुप करा दिया गया। साथ ही कहा गया कि आगे कोई कार्रवाई नहीं करोगे। मेरे द्वारा रातीबड़ थाने में शिकायत की गई, जिसके पेपर मेरे पास हैं। उन्होंने वीडियों में कहा कि मेरे बच्चों को कर्जमुक्त कराया जाए। साथ ही उद्योगपतियों को सजा दी जाए।
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अंकल ने जीवन से हार नहीं मानी
भदभदा मुक्तिधाम पर राधेश्याम के दामाद जितेंद्र सेन ने बताया कि उनके ससुर हंसमुख स्वभाव के थे। संघर्ष में उनका जीवन भीम नगर की झुग्गी से शुरू हुआ, लेकिन कभी भी उन्होंने जीवन से हार नहीं मानी। उन्होंने साल 2010 तक सोम डिस्टलरी कंपनी में ड्राइवर की नौकरी की थी। नौकरी के दौरान उनके संबंध मालिकों से अच्छे हो गए थे। उन्होंने बताया कि राधेश्याम ने एक छोटा नमकीन का कारखाना भी खोला था। उनके दोनों बेटे नौकरी करते थे।
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पिता के दस्तावेज से बनाई फर्म
बेटे आदित्य ने आरोप लगाया कि उनके पिता सोम डिस्टलरी में काम करते थे। सोम डिस्टलरी के मालिक जगदीश अरोरा, अनिल अरोरा और अजय अरोरा ने पिता के दस्तावेज से फर्म रजिस्टर्ड की थी। फर्म से उन्होंने जमकर पैसा कमाया व उधारी भी ली। हमें उस समय जानकारी लगी जब 2022 में पिता के पास इनकम टैक्स डिपार्टमेंट से नोटिस आया था। नोटिस के बाद से पिता परेशान रहने लगे थे। फिलहाल सोम डिस्टलरी बिजनेस पार्टनर राधेश्याम सेन आत्महत्या केस में पुलिस जांच कर रही है।