नई दिल्ली में केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने बैठक लेकर मध्य प्रदेश में 100 करोड़ से अधिक लागत वाली सभी निर्माणाधीन राष्ट्रीय राजमार्ग परियोजनाओं की समीक्षा की है। बैठक में लोक निर्माण मंत्री मध्य प्रदेश राकेश सिंह भी मौजूद थे। सिंह ने प्रदेश में अमृत सरोवरों की तर्ज पर राज्य में तैयार किए जा रहे लोक निर्माण सरोवरों की जानकारी केंद्रीय मंत्री को दी। बैठक में केंद्रीय मंत्री गडकरी ने भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के मध्य प्रदेश में 18 हजार करोड़ रुपए की लागत के 28 प्रोजेक्ट्स की प्रगति की समीक्षा की है।
4 हजार करोड़ रुपए के प्रोजेक्ट्स की समीक्षा
लोक निर्माण विभाग के 4 हजार करोड़ रुपए के 10 प्रोजेक्ट्स की प्रगति की भी समीक्षा की। बैठक में परियोजनाओं की प्रगति, निर्माण कार्यों में आने वाली बाधाएं, विलंब, भूमि अधिग्रहण एवं वन अनुमतियों जैसे मुद्दों पर विचार-विमर्श किया गया है। केन्द्रीय मंत्री ने परियोजनाओं में निर्माण के दौरान होने वाले परिवर्तनों के लिए डीपीआर कंसल्टेंट्स की जिम्मेदारी तय करने के निर्देश भी दिए।
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पॉलिसी तैयार करें
सड़क बनाते समय काटे हुए पेड़ों को शिफ्ट करने की संभावनाओं पर जोर देते हुए केन्द्रीय मंत्री ने एमपी को रोड साइड ट्री-प्लांटेशन पॉलिसी तैयार करने का सुझाव दिया है। राजमार्ग मंत्रालय से जो भी सहायता चाहिए उसको केंद्रीय मंत्री पूरा करेंगे। साथ ही उनका कहना है कि यह समीक्षा बैठक मध्य प्रदेश में बुनियादी ढांचे के विकास को गति देने और परिवहन सुविधाओं को और अधिक सुलभ बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम साबित होगी।
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रोपवे के लिए हुआ समझौता
रोपवे के लिए नेशनल हाईवे लॉजिस्टिक्स मैनेजमेंट कंपनी और मध्य प्रदेश सड़क विकास निगम के बीच समझौता हो गया है। पर्वतमाला परियोजना के अंतर्गत नेशनल हाईवे लॉजिस्टिक्स मैनेजमेंट कंपनी और मध्य प्रदेश सड़क विकास निगम के बीच उज्जैन और सागर नगरों में रोपवे बनाने के लिए एक महत्वपूर्ण समझौता हुआ। इस अवसर पर नेशनल हाईवे लॉजिस्टिक्स मैनेजमेंट कंपनी की ओर से मुख्य कार्यपालन अधिकारी प्रकाश गौड़ और मध्यप्रदेश सड़क विकास निगम की ओर से प्रबंध संचालक अविनाश लवानिया ने समझौते पर साइन किए हैं।
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यात्रा का टाइम 75 फीसदी कम करने की योजना
उज्जैन महाकालेश्वर मंदिर रोपवे 1.762 किलोमीटर की परियोजना है, जो मोनोकेबल डिटेचेबल गोंडोला तकनीक का उपयोग करती है। जानकारी के अनुसार परियोजना लगभग 64 हजार श्रद्धालुओं के लिए सुविधा को महत्वपूर्ण रूप से बढ़ाएगी। हर दिशा हर घंटे 2 हजार यात्रियों को ले जाएगी। यह यात्रा समय को लगभग 75% कम कर देगी, 25-30 मिनट से घटाकर मात्र 7 मिनट कर देगी। इस परियोजना में 3 स्टेशन और 13 टावर शामिल हैं, जो सभी आगंतुकों के लिए एक तेज और आरामदायक अनुभव सुनिश्चित करेंगे, और उनकी यात्रा को उन्नत तकनीक का उपयोग करके बनाई गई है।
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