हाईकोर्ट आदेश न मानने पर SDO के खिलाफ जारी हुआ वारंट

मप्र के सिंगरौली की जनपद पंचायत चितरंगी के गांव दिघवार के किसान कर्मणी सिंह ने हाईकोर्ट में एक रिट याचिका दायर की गई थी। जिसमें उन्होंने ग्राम पंचायत दिघवार के सचिव, रोजगार सहायक और सरपंच की शिकायत एसडीओ चितरंगी से की थी।

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Neel Tiwari
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हाईकोर्ट के दो बार पेश होने के आदेश के बाद भी आदेश का पालन न करना सिंगरौली के एक एसडीओ को भारी पड़ सकता है। हाईकोर्ट ने सिंगरौली के चितरंगी एसडीओ के खिलाफ अब वारंट जारी कर दिया है।

मनरेगा में अपात्र व्यक्तियों को हो रहा मजदूरी का भुगतान 

मप्र के सिंगरौली की जनपद पंचायत चितरंगी के गांव दिघवार के किसान कर्मणी सिंह के द्वारा हाईकोर्ट जबलपुर में एक रिट याचिका दायर की गई थी। जिसमें उन्होंने ग्राम पंचायत दिघवार के सचिव, रोजगार सहायक और सरपंच के द्वारा किए जा रहे अवैध कामों की शिकायत एसडीओ चितरंगी से की थी। जिसमें अपनी शिकायत में उन्होंने बताया था कि मनरेगा के तहत उन अपात्र व्यक्तियों को मजदूरी का भुगतान किया जा रहा है जो पहले से ही विभिन्न स्थानों में काम कर रहे है। उन्होंने ऐसे व्यक्तियों के नाम की सूची भी उपलब्ध कराई थी जिनमें संगम कुमार पांडे अतिथि शिक्षक ग्रेड 1,(जी.एच.एस. एस.) लमसरई, सूर्यकुमार पांडेय अतिथि शिक्षक ग्रेड 1(जी.एच.एस. एस.) लमसरई ओर मुकेश नाई अतिथि शिक्षक ग्रेड 3 प्राथमिक विद्यालय दुआरी को अपात्र होते हुए भी मनरेगा के तहत मजदूरी का भुगतान किया जा रहा है।

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कोर्ट ने जारी किए थे जांच के आदेश 

इस याचिका पर सुनवाई के दौरान राज्य के पैनल अधिवक्ता ने कोर्ट को बताया था कि संबंधित एसडीओ को निष्पक्ष जांच करने के निर्देश दिए जाएंगे। आरोप सिद्ध होने पर सचिव, रोजगार सहायक और ग्राम पंचायत दिघवार के सरपंच के खिलाफ उचित कार्यवाही की जाएगी।

जिस पर सुनवाई करते हुए जस्टिस विवेक अग्रवाल के द्वारा 28 जुलाई 2023 को याचिका का निपटारा करते हुए यह आदेश दिया गया कि याचिकाकर्ता संबंधित एसडीओ को 7 दिनों में एक विस्तृत अभ्यावेदन पेश करेगा साथ ही संबंधित एसडीओ 15 दिनों के अतिरिक्त समय में शिकायत की जांच करेंगे और न्यायालय के साथ-साथ याचिकाकर्ता को भी सूचित करेंगे। यदि शिकायत सही पाई जाती है तो 30 दिनों के भीतर कार्यवाही को सुनिश्चित करेंगे।

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आदेश का पालन नहीं होने पर कोर्ट ने मांगा जवाब 

कोर्ट के द्वारा इस याचिका पर जांच के निर्देश दिए जाने के बाद भी इस याचिका में दिए गए आदेश का पालन नहीं किया गया था जिस पर कोर्ट ने अनुविभागीय अधिकारी चितरंगी के द्वारा आदेश का पालन किया गया है या नहीं इससे संबंधित रिपोर्ट पेश करने के लिए राज्य सरकार को निर्देशित किया था। अगली सुनवाई में उप महाधिवक्ता के द्वारा अनुपालन रिपोर्ट दाखिल किए जाने में 7 दिनों का समय मांगा गया था ।जिस पर कोर्ट ने यह स्पष्ट कर दिया है कि आदेश का अनुपालन नहीं किया गया है इसलिए संबंधित अधिकारी को अगली सुनवाई में व्यक्तिगत रूप से कोर्ट में उपस्थित होने के आदेश जारी किए गए थे।

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कोर्ट ने जारी किया वारंट 

इस याचिका पर सुनवाई जस्टिस विवेक अग्रवाल की सिंगल बेंच में हुई।  जिसमें उन्होंने सुनवाई के दौरान यह माना कि पिछली सुनवाई के दौरान दिए गए आदेश का पालन नहीं किया है। जिसमें एसडीएम चितरंगी को प्रत्यक्ष रूप से उपस्थित होने और कंप्लायंस रिपोर्ट जमा करने के निर्देश दिए गए थे। लगातार दो बार प्रत्यक्ष रूप से कोर्ट में उपस्थित होने के आदेश के बाद भी चितरंगी के सब डिविजनल ऑफीसर के द्वारा कोर्ट के आदेश का पालन नहीं किया गया है। जिस पर कोर्ट ने सख्त लहजा अपनाते हुए एसडीएम चितरंगी, जिला सिंगरौली के खिलाफ 500 रुपए का जमानती वारंट जारी किया है। इस याचिका की अगली सुनवाई 7 मार्च 2025 को कोर्ट के सामने पेश होने के निर्देश जारी किए हैं।

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