गांव में संसद की डिजाइन जैसा स्कूल : अमेरिकी एनआरआई डॉक्टर अशोक जैन ने बनवाया, 7 करोड़ लागत

राजस्थान के जालोर के दादाल गांव में अमेरिकी डॉक्टर अशोक जैन ने 7 करोड़ की लागत से संसद भवन जैसी स्कूल बिल्डिंग बनाई। इसमें बच्चों के लिए आधुनिक सुविधाएं उपलब्ध। सोमवार को उद्घाटन समारोह में मुख्य सचेतक जोगेश्वर गर्ग जैन के साथ जमकर नाचे।

author-image
Amit Baijnath Garg
New Update
school

Photograph: (the sootr)

Listen to this article
0.75x1x1.5x
00:00/ 00:00

Jalore. राजस्थान के जालोर जिले के दादाल गांव में एक अनोखी स्कूल बिल्डिंग का उद्घाटन हुआ है। यह स्कूल बिल्डिंग अमेरिकी एनआरआई डॉक्टर अशोक जैन ने बनवाया है। इसका डिजाइन संसद भवन जैसा है। इस नए स्कूल भवन की लागत करीब 7 करोड़ रुपए आई है। इसमें आधुनिक सुविधाओं के साथ बच्चों को गुणवत्तापूर्ण शिक्षा देने का सपना पूरा किया गया है।

15 साल बाद शुरू होगा मध्य प्रदेश बस सेवा का सफर, राजस्थान, उत्तराखंड सहित छह राज्यों तक 389 रूट तय

अशोक जैन की स्कूल से जुड़ी यादें

अशोक जैन ने अपनी प्रारंभिक शिक्षा दादाल गांव के सरकारी स्कूल से की थी, जहां उन्हें कभी पेड़ के नीचे बैठकर पढ़ाई करनी पड़ी। जैन का कहना है कि 1972 से 1975 के दौरान जब वह क्लास 1 से लेकर 3 तक इसी स्कूल में पढ़ते थे, तब स्कूल में कोई कमरे नहीं थे और वह खुले आसमान के नीचे पढ़ाई करते थे। अब उस पुराने स्कूल का रूप बदलकर यह नया और अत्याधुनिक स्कूल बन चुका है।

विवादों में घिरी राजस्थान पुलिस : भ्रष्टाचार और अपराधियों से मिलीभगत के आरोप, अपनों के खिलाफ चलाने पड़े अभियान

स्कूल के निर्माण का प्रेरणादायक सफर

करीब 6 साल पहले स्कूल के प्रिंसिपल ने अशोक जैन से एक कमरे के निर्माण के लिए गुजारिश की थी, लेकिन उनकी मां ने एक कमरे के बजाय पूरा स्कूल बनाने का सुझाव दिया। इस विचार को अपनाते हुए अशोक जैन ने 7 करोड़ की लागत से एक नया स्कूल बनाने का फैसला किया। जैन के परिवार और उनके बड़े भाई जीतमल जैन ने भी इस प्रोजेक्ट का पूरा समर्थन किया।

मां की सलाह, परिवार का सहयोग

अशोक जैन ने बताया कि उनकी मां का हमेशा मानना था कि गांव के हर बच्चे को अच्छी शिक्षा मिलनी चाहिए। मां की प्रेरणा से ही उन्होंने इस स्कूल के निर्माण का फैसला किया। इसके बाद उनकी पत्नी ने भी इसे सही समय मानते हुए इस प्रोजेक्ट पर काम शुरू करने के लिए प्रेरित किया। जैन का कहना है कि यह एक जीवन भर का दान है और उन्होंने इसे शिक्षा के क्षेत्र में दिया है।

NEWS STRIKE : अगले चुनाव तक रिटायर हो जाएगी बीजेपी नेताओं की पूरी खेप; मप्र, राजस्थान और छत्तीसगढ़ के ये नेता होंगे रिटायर?

स्कूल के भीतर की सुविधाएं

दादाल गांव के इस स्कूल में न केवल पढ़ाई के लिए आधुनिक सुविधाएं हैं, बल्कि बच्चों के खेलने के लिए भी पूरी व्यवस्था की गई है। स्कूल में वॉलीबॉल, बास्केटबॉल, बैडमिंटन, फुटबॉल, क्रिकेट, कबड्डी और एथलेटिक्स जैसी खेल सुविधाएं उपलब्ध हैं। इसके अलावा, स्कूल के सामने एक ओपन जिम भी तैयार किया गया है, जिससे बच्चों को शारीरिक शिक्षा का पूरा लाभ मिल सके।

राजस्थान में 5 IAS के तबादले, दिल्ली से लौटे सिद्धार्थ महाजन को मिली बड़ी जिम्मेदारी, देखिए सूची

राजपूत समाज का योगदान

स्कूल के निर्माण के लिए जमीन की कमी थी, जिस पर गांव के राजपूत समाज ने अहम भूमिका निभाई। मलसिंह ने अपनी जमीन दान में दी, जबकि उनके बेटे भंवर सिंह, बलवंत सिंह और शैल सिंह ने स्कूल के लिए आगे की 3 बीघा जमीन दान की। इस दान के कारण ही इस स्कूल का निर्माण संभव हो पाया।

द सूत्र मन मत सर्वे:: राजस्थान के 46% लोग बोले- आज चुनाव तो हार जाएंगे मौजूदा विधायक, आधी जनता विधायकों के खिलाफ खुलकर नहीं बोल पाती

गांव में संसद की डिजाइन जैसा स्कूल

बीते सोमवार को आयोजित स्कूल के उद्घाटन समारोह में जालोर के मुख्य सचेतक जोगेश्वर गर्ग ने अपने पारंपरिक नृत्य से समारोह की रौनक बढ़ाई। उन्होंने अमेरिकी डॉक्टर अशोक जैन के साथ हाथ में नोट लेकर स्थानीय कलाकारों के साथ पारंपरिक डांस किया और फिर कलाकारों को 500 का नोट भी दिया।

राजस्थान जालोर अमेरिकी एनआरआई डॉक्टर अशोक जैन दादाल गांव गांव में संसद की डिजाइन जैसा स्कूल
Advertisment