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पूर्व विधायक के तौर पर पूर्व उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ की राजस्थान विधानसभा से पेंशन मंजूर हो गई है।पूर्व उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने किया था पेंशन के लिए आवेदन किया था। | राजस्थान विधानसभा ने धनखड़ के आवेदन पर प्रक्रिया पूरी करने के बाद उनके उपराष्ट्रपति पद से इस्तीफा मंजूर होने की तारीख से पेंशन शुरू कर दी है। अब धनखड़ को हर महीने पूर्व विधायक की पेंशन और सुविधाएं मिलनी शुरू हो जाएगी। पूर्व उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ किशनगढ़ से कांग्रेस के विधायक रह चुके हैं।
अगस्त में किया था पेंशन के लिए आवेदन
पूर्व उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ की पूर्व विधायक की पेंशन मंजूर हो चुकी है। धनखड़ ने अगस्त के आखिरी सप्ताह में पूर्व विधायक की पेंशन के लिए विधानसभा सचिवालय में आवेदन किया था। विधानसभा सचिवालय ने सभी औपचारिकताएं पूरी करने के बाद अब पेंशन शुरू कर दी है। धनखड़ को हर महीने पूर्व विधायक के तौर पर करीब 42 हजार रुपए पेंशन मिलेगी।
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धनखड़ का विधायक बनने का इतिहास
पूर्व उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ किशनगढ़ विधानसभा सीट से कांग्रेस के विधायक रह चुके हैं। उन्हें जुलाई 2019 तक पूर्व विधायक के तौर पर पेंशन भी मिल रही थी, लेकिन पश्चिमी बंगाल के राज्यपाल बनने के बाद यह पेंशन बंद हो गई थी।
क्या है पूर्व विधायक पेंशन की प्रक्रियाविधायक का जब कार्यकाल पूरा हो जाता है तो उसकी पेंशन चालू हो जाती है। अगर वह किसी संवैधानिक पद पर मनोनीत हो जाता है, मंत्री बन जाता है या सैलरी वाले किसी पद पर नियुक्त हो जाता है तो पेंशन बंद हो जाती है। किसी भी सैलरी वाले पद पर जाने पर विधानसभा सचिवालय को इसकी सूचना दी जाती है, जिसके बाद पेंशन बंद हो जाती है। सरकारी पद से कार्यकाल पूरा होने के बाद विधानसभा सचिवालय को तय फॉर्मेट में आवेदन कर सूचना देनी होती है, जिसके बाद पेंशन फिर शुरू हो जाती है। जगदीप धनखड़ ने भी उसी प्रक्रिया के तहत आवेदन किया और उनकी पेंशन शुरू हो गई। | |
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पेंशन में वृद्धि का कारण
धनखड़ विधायक रहे हैं। उनकी उम्र 75 साल है, ऐसे में उन्हें 20 प्रतिशत ज्यादा पेंशन मिलेगी। उन्हें 35 हजार प्रतिमाह का 20 फीसदी जोड़कर पेंशन मिलेगी। यह पेंशन 42 हजार रुपए होती है।
पूर्व विधायक को 35 हजार रुपए महीना पेंशन मिलती है। हर टर्म के हिसाब से पेंशन में बढ़ोतरी होती है। जो जितनी बार विधायक रहा है, हर टर्म में प्रतिमाह 1600 रुपए जोड़ते हुए अतिरिक्त पेंशन दी जाती है।
पूर्व विधायकों को मिलने वाली अन्य सुविधाएं
पूर्व विधायकों को नि:शुल्क उपचार के साथरोडवेज में फ्री यात्रा की सुविधा मिलती है। विदेश यात्रा के लिए वर्ष में 1 लाख रुपए का भी प्रावधान है। पूर्व विधायक की मृत्यु के बाद पत्नी को फैमिली पेंशन भी मिलती है। पूर्व विधायकों को आरजीएचएस (RGHS) के तहत उपचार की सुविधा मिलती है। वे डाक बंगलों, सरकारी गेस्ट हाउस में रियायती दरों पर ठहर सकते हैं।
धनखड़ को तीन पेंशन मिलेंगी
अब पूर्व उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ को तीन तरह की पेंशन मिलेगी। पूर्व उपराष्ट्रपति, पूर्व सांसद और पूर्व विधायक के तौर पर उनको पेंशन मिलेगी।
धनखड़ 1989 से 1991 तक झुंझुनूं से सासंद रहे। 1990 में संसदीय कार्य राज्य मंत्री रहे। 1993 से 1998 तक किशनगढ़ से कांग्रेस विधायक रहे। 2003 में वे भाजपा में शामिल हो गए। धनखड़ 30 जुलाई 2019 से 18 जुलाई 2022 तक पश्चिमी बंगाल के राज्यपाल रहे। वे 11 अगस्त 2022 को भारत के उपराष्ट्रपति चुने गए और 21 जुलाई 2025 को उन्होंने इस्तीफा दे दिया।
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