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Photograph: (the sootr)
राजस्थान सरकार ने हाल ही में घोषणा की है कि वह राजधानी जयपुर सहित बड़े शहरों के आसपास के कस्बों को सैटेलाइट सिटी के रूप में विकसित करेगी। नगरीय विकास मंत्री राजस्थान झाबर सिंह खर्रा ने इस महत्वाकांक्षी परियोजना की शुरुआत की घोषणा की, जिससे जयपुर सहित अन्य बडे़ शहरों पर बढ़ते आबादी के दबाव को कम करने में भी मदद मिलेगी।
इसके अलावा, इस कदम से इन कस्बों की कनेक्टिविटी, बुनियादी ढांचे और रियल एस्टेट प्रॉपर्टी की कीमतों में भी वृद्धि होने की संभावना है। इस लेख में हम विस्तार से जानेंगे कि ये सैटेलाइट सिटी क्या होंगे, और उनका राजस्थान के विकास में क्या महत्व हो सकता है।
सैटेलाइट सिटी क्या होते हैं?
सैटेलाइट सिटी (Satellite City) वह नगर होते हैं जो एक प्रमुख शहर के पास बनाए जाते हैं, लेकिन उस मुख्य शहर से अलग होते हैं। यह शहर मुख्यतः शहर की बढ़ती हुई जनसंख्या और व्यस्तता को संभालने के लिए बनाए जाते हैं।
इन सिटी की योजना इस तरह से होती है कि वे मुख्य शहर से अच्छी कनेक्टिविटी रखते हुए, लोगों को बेहतर जीवनशैली, शांतिपूर्ण वातावरण और विकसित सुविधाएं प्रदान करें।
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राजस्थान में सैटेलाइट सिटी परियोजना की आवश्यकता
राजस्थान के महानगरों में बढ़ती हुई जनसंख्या और ट्रैफिक जाम की समस्याएं अब एक गंभीर मुद्दा बन चुकी हैं। विशेषकर, जयपुर जैसे शहरों में जहां की जनसंख्या तेजी से बढ़ रही है, वहां की स्थिति को संभालने के लिए सैटेलाइट सिटी का निर्माण एक बेहतरीन विकल्प साबित हो सकता है।
इन सैटेलाइट सिटीज के माध्यम से राजस्थान सरकार नगरीय विकास विभाग ने यह योजना बनाई है कि छोटे कस्बों को आधुनिक सुविधाओं से लैस किया जाए ताकि लोग इन स्थानों पर रहने के लिए आकर्षित हों और यह शहर जयपुर सहित अन्य बड़ें शहरों के दबाव को कम करने में सहायक बनें।
इन कस्बों को सैटेलाइट सिटी के रूप में किया जाएगा विकसित
राजस्थान सरकार ने जिन कस्बों को सैटेलाइट सिटी के रूप में विकसित करने का प्रस्ताव दिया है, उनमें निम्नलिखित प्रमुख नाम शामिल हैं:
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बस्सी (Bassi)
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बगरू (Bagru)
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चौमूं (Chomu)
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चाकसू (Chaksu)
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जोबनेर (Jobner)
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कोटपूतली (Kotputli)
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दूदू (Dudu)
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फुलेरा (Phulera)
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रींगस (Ringas)
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श्रीमाधोपुर (Shreemadhopur)
इसके अलावा, और भी कई कस्बों को सैटेलाइट सिटी के रूप में विकसित किया जा सकता है। जैसे कि, खाटूश्यामजी, पीपाड़ शहर, बिलाड़ा, सोजत, और किशनगढ़ आदि।
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सैटेलाइट सिटी से यह होंगे फायदे1. जयपुर पर दबाव कम होगा:इन सैटेलाइट सिटीज के बनने से जयपुर शहर पर बढ़ते दबाव को कम किया जा सकेगा। इससे जयपुर में यातायात की समस्या और प्रदूषण में कमी आएगी। 2. कनेक्टिविटी में सुधार:इन कस्बों को सैटेलाइट सिटी के रूप में विकसित करने के बाद, इन स्थानों की कनेक्टिविटी जयपुर और अन्य प्रमुख शहरों से बेहतर हो जाएगी। 3. प्रॉपर्टी रेट्स में वृद्धि:जब ये कस्बे सैटेलाइट सिटी में बदल जाएंगे, तो इन स्थानों की प्रॉपर्टी के रेट्स में भी वृद्धि हो सकती है। इससे यहां रहने के इच्छुक परिवारों के लिए निवेश का एक अच्छा अवसर होगा। 4. आधुनिक बुनियादी ढांचा:इन सिटी में सड़क, जल आपूर्ति, बिजली, सीवेज और अन्य सुविधाएं आधुनिक रूप से बनाई जाएंगी, जिससे इन कस्बों का जीवन स्तर बेहतर होगा। |
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सैटेलाइट सिटी में बढे़गा निवेश
सैटेलाइन सिटी के रूप में चयनित कस्बों के विकास और बडे़ शहरों से कनेक्टीविटी का असर यहां के विकास और निवेश पर भी पडे़गा। इन कस्बों में प्रापर्टी के रेटस में वृद्धि होगी, औद्योगिक विकास को तेजी मिलेगी,जयपुर जैसे बडे़ शहरों के लोगों को सस्ते दामों पर आवास उपलब्ध हो सकेंगे।
सैटेलाइट सिटी विकास के लिए क्या कदम उठाए जाएंगे?
राजस्थान सरकार इस सैटेलाइट सिटी परियोजना को गुजरात के गिफ्ट सिटी (GIFT City) और हैदराबाद के एचआईटीईसी (HITECH) जैसे मॉडल के आधार पर विकसित करने की योजना बना रही है।
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फिजिबिलिटी स्टडी:
राज्य सरकार ने इस परियोजना की फिजिबिलिटी स्टडी शुरू कर दी है, जो इस बात का पता लगाएगी कि इन कस्बों को सैटेलाइट सिटी में बदलने के लिए क्या उपाय किए जा सकते हैं। -
वित्तीय सहायता:
सरकार ने इस परियोजना के लिए वित्तीय सहायता का भी प्रबंध किया है। -
निवेश आकर्षण:
राज्य सरकार निवेशकों को आकर्षित करने के लिए विभिन्न योजनाएं भी तैयार कर रही है ताकि इन सिटी में औद्योगिक और व्यापारिक गतिविधियों का भी विकास हो।FAQ
सैटेलाइट सिटी क्या है?सैटेलाइट सिटी एक ऐसे नगर को कहते हैं जो किसी बड़े शहर के पास बनाया जाता है, ताकि उस शहर पर बढ़ता हुआ दबाव कम किया जा सके। यह सिटी अपने आप में पूरी तरह से विकसित होती है और मुख्य शहर से बेहतर कनेक्टिविटी रखती है।राजस्थान में सैटेलाइट सिटी के कौन-कौन से कस्बे शामिल हैं?राजस्थान में बस्सी, बगरू, चौमूं, चाकसू, जोबनेर और कोटपूतली जैसे कस्बों को सैटेलाइट सिटी के रूप में विकसित किया जाएगा। भविष्य में और भी कई कस्बे इसमें शामिल हो सकते हैं।क्या सैटेलाइट सिटी में प्रॉपर्टी की कीमत बढ़ेगी?हां, सैटेलाइट सिटी के बनने के बाद, इन कस्बों में प्रॉपर्टी की कीमतों में वृद्धि हो सकती है क्योंकि यहां की कनेक्टिविटी और बुनियादी सुविधाएं बेहतर होंगी।thesootr links
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