तीन नए सेंटर खोलेगा JNU, मॉर्डन एकेडमिक्स से जुड़ेगी ट्रेडिशनल एजुकेशन

जवाहरलाल नेहरू यूनिवर्सिटी तीन नए सेंटर खोलने जा रही है। इसमें सेंटर फॉर हिंदू स्टडीज, सेंटर फॉर बुद्धिस्ट स्टडीज और सेंटर फॉर जैन स्टडीज शामिल है। यूनिवर्सिटी ने इसके लिए शुरू कर दी है तयारी...

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Amresh Kushwaha
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हिंदू , बौद्ध और जैन धर्म की स्टडी
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जवाहरलाल नेहरू यूनिवर्सिटी में तीन नये स्टडी सेंटर खोले जाएंगे। इसमें हिंदू, बौद्ध और जैन अध्ययन केंद्र शामिल हैं। पिछले दिनों अकादमिक परिषद् की बैठक में इस बात पर मुहर लगी थी और अब जल्द ही इसकी शुरुआत होगी। इन तीनों सेंटर्स से कैंडिडेट्स पोस्ट ग्रेजुएशन की डिग्री ले सकेंगे। साथ ही पीएचडी भी कर सकेंगे। यूनिवर्सिटी ने इसके लिए तैयारी शुरू कर दी है...

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नये एकेडमिक सेशन से होगी शुरू

अकादमिक परिषद् की हुई बैठक में यह तय किया गया था कि नई सेंटर एकेडमिक सेशन 2025-26 से इन तीनों सेंटर्स की शुरुआत होगी। इनके नाम हैं - फॉर हिंदू स्टडीज, सेंटर फॉर बुद्धिस्ट स्टडीज और सेंटर फॉर जैन स्टडीज।

कैसे मिलेगा एडमिशन

इन तीनों सेंटर्स द्वारा कराए जाने वाले कोर्सेस में एडमिशन प्रवेश परीक्षा के माध्यम से होगा। इसके लिए कैंडिडेट्स को कॉमन यूनिवर्सिटी एंट्रेंस टेस्ट ( सीयूईटी ) पास करना होगा। सीयूईटी परीक्षा में आए स्कोर को जेएनयू एडमिशन के लिए आधार बनाया जाएगा।

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इसके अंतर्गत होंगे स्थापित

ये तीनों ही सेंटर स्कूल और संस्कृत एंड इंडिक स्टडीज के अंतर्गत स्थापित किए जाएंगे। इस मंजूरी जवाहरलाल नेहरू यूनिवर्सिटी की एग्जीक्यूटिव काउंसिल की मीटिंग 29 मई के दिन हुई थी। साथ ही इसके प्रस्ताव पर मुहर भी लग गई थी। जेएनयू ने एक कमेटी स्थापित की थी। इसका काम नेशनल एजुकेशन पॉलिसी 2020 और इंडियन नॉलेज सिस्टम को यूनिवर्सिटी में कैसे लागू करें, इस पर काम करना था।

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‘विकसित भारत’ की तरफ एक कदम

इस बारे में जेएनयू वीसी का कहना है कि ये कदम हमें परंपरा के साथ आधुनिकता की और ले जाएगा। मिथ और रिएलिटी के बीच के अंतर को बताएगा और विकसित भारत की ओर एक नया कदम बढ़ाएगा।

यूनिवर्सिटी ने जानकारी दी कि इस बारे में सभी संबंधित विभागों और अधिकारियों को सूचना दे दी गई है। ये एनईपी 2020 के विजन को पूरा करने की ओर यूनिवर्सिटी का एक प्रयास है। इसमें पारंपरिक भारतीय ज्ञान को मॉडर्न एकेडमिक्स के साथ जोड़ा जाएगा।

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शुरुआत में होंगी इतनी सीटें

इसके लिए अभी बहुत से काम प्लानिंग लेवल पर हैं जिनका इम्प्लिमेंटेशन होना बाकी है। हालांकि मीडिया रिपोर्ट्स की मानें तो शुरुआत में इन तीनों सेंटरों में 20-20 सीटें होंगी। बाद में इनकी संख्या बढ़ायी जा सकती है। इन सेंटरों में एडवांस्ड स्टडी करायी जाएगी। सिलेबस से लेकर कार्यक्रम की बाकी रूपरेखा जल्द ही तैयार होगी।

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