EOW की तत्कालीन एसडीएम, तहसीलदार समेत 20 अधिकारियों के ठिकानों पर दबिश

छत्तीसगढ़ में भारतमाला प्रोजेक्ट में गड़बड़ी के मामले में ईओडब्ल्यू ने नया रायपुर, अभनपुर, दुर्ग-भिलाई, आरंग समेत करीब 20 ठिकानों पर एक साथ छापा मारा। ईओडब्ल्यू की टीम इन ठिकानों पर भारतमाला प्रोजेक्ट में गड़बड़ी से जुड़े दस्तावेज खोज रही है। 

author-image
Krishna Kumar Sikander
New Update
EOW raids the premises of 20 officials including the then SDM and Tehsildar the sootr
Listen to this article
0.75x 1x 1.5x
00:00 / 00:00

छत्तीसगढ़ में भारतमाला प्रोजेक्ट में गड़बड़ी के मामले में ईओडब्ल्यू ने नया रायपुर, अभनपुर, दुर्ग-भिलाई, आरंग समेत करीब 20 ठिकानों पर एक साथ छापा मारा। इनमें तत्कालिक अभनपुर एसडीएम निर्भय साहू और तहसीलदार शशिकांत कुर्रे के रायपुर स्थित घरों के अलावा 20 अधिकारियों और कर्मचारियों के ठिकाने शामिल हैं। ईओडब्ल्यू की टीम इन ठिकानों पर भारतमाला प्रोजेक्ट में गड़बड़ी से जुड़े दस्तावेज खोज रही है। 

ये खबर भी पढ़ें... छत्तीसगढ़ के 11 जिलों में Heat Wave का येलो अलर्ट

घोटाले का आंकड़ा 220 करोड़ से अधिक

बताया जा रहा है कि ईओडब्ल्यू की शुरुआती जांच में पता चला है कि कुछ सरकारी अधिकारियों, भू-माफियाओं और प्रभावशाली लोगों ने धोखाधड़ी कर करीब 43 करोड़ की मुआवजा राशि ले ली। बाद में जब गहराई से जांच की गई तो यह आंकड़ा 220 करोड़ से अधिक हो गया। ईओडब्ल्यू को अब तक 164 करोड़ रुपये के संदिग्ध लेन-देन का रिकॉर्ड मिल चुका है। इस मामले को लेकर विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष चरणदास महंत ने गत 6 मार्च को प्रधानमंत्री कार्यालय और केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी को पत्र लिखकर सीबीआई जांच की मांग की थी। 

ये खबर भी पढ़ें... नकली होलोग्राम के मुख्य आरोपी तक नहीं पहुंच रहे कानून के लंबे हाथ

नेता प्रतिपक्ष महंत ने उठाया था मुद‍्दा

भारतमाला प्रोजेक्ट में गड़बड़ी के मामले को नेता प्रतिपक्ष चरणदास महंत ने विधानसभा के बजट सत्र 2025 में भी मुद्दा उठाया था। इसके बाद मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट बैठक में इसकी जांच ईओडब्ल्यू को सौंपने का निर्णय लिया गया। सरकार के बाद ईओडब्ल्यू ने मामले की जांच शुरू की। अब ईओडब्ल्यू की टीम आरोपियों के घर तक पहुंच गई है। 

ये खबर भी पढ़ें... नक्सलियों पर हेलीकॉप्टर से हो रही बमबारी

यह है भारतमाला परियोजना का मुआवजा घोटाला

भारतमाला प्रोजेक्ट के तहत रायपुर से विशाखपट्टनम तक सड़क निर्माण किया जा रहा है। इस सड़क का निर्माण 8950 किलोमीटर तक होना है। इस फोरलेन सड़क प्रोजेक्ट के तहत दुर्ग से आरंग तक सिक्स लेन बनना प्रस्तावित है। सड़क के निर्माण के लिए सरकार ने कई किसानों की जमींने अधिग्रहित की और इसके लिए उन्हें मुआवजा दिया। इसके बावजूद कई किसानों को अब भी मुआवजा नहीं मिला है। विधानसभा बजट सत्र 2025 के दूसरे दिन नेता प्रतिपक्ष चरण दास महंत ने इस मुद्दे को उठाया था तो सरकार ने जांच का फैसला लिया। 

ये खबर भी पढ़ें... सुकमा का बड़ेशेट्टी गाँव हुआ नक्सल मुक्त

ऐसे तय हुआ था मुआवजा 

भूमि अधिग्रहण नियम 2013 के तहत भू स्वामी से अगर 5 लाख की जमीन ली जाती है तो उस कीमत के अलावा उतनी ही राशि सोलेशियम के रूप में दी जाएगी। इस तरह भू स्वामी को उस जमीन का मुआवजा 10 लाख दिया जाएगा। इतना ही नहीं 5 लाख की यदि जमीन अधिग्रहित की जाती है तो उसके 10 लाख रुपए मिलेंगे और 10 लाख सोलेशियम होगा। इस तरह भू स्वामी को उसी जमीन के 20 लाख रुपए मिलेंगे। 

Tags : EOW | raids | CG ED raids | SDM | Tehsildar | CG News | Raipur | ईडी की दबिश | छत्तीसगढ़ की खबर

Tehsildar SDM तहसीलदार raids छत्तीसगढ़ की खबर एसडीएम ईडी की दबिश CG ED raids ईओडब्ल्यू EOW रायपुर Raipur CG News