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local body elections bjp congress obc candidates . छत्तीसगढ़ में होने जा रहे नगरीय निकाय चुनाव में नगर निगमों की तस्वीर साफ हो गई है। बीजेपी और कांग्रेस ने अपने-अपने उम्मीदवार घोषित कर दिए हैं। बीजेपी और कांग्रेस दोनों राजनीतिक दलों ने अपना ओबीसी प्रेम जता दिया है। बीजेपी ने चालीस फीसदी टिकट ओबीसी को दिए हैं तो कांग्रेस ने तीस फीसदी टिकट ओबीसी को बांटे हैं।
दस नगर निगमों में भले ही दो सीटें ओबीसी के लिए आरक्षित की गई हों, लेकिन पिछड़ा वर्ग से तीन मेयर बनना तो पक्का हो गया है। बीजेपी जीती तो ओबीसी से चार मेयर हो जाएंगे। रायपुर में कांग्रेस ने पूर्व मेयर प्रमोद दुबे की पत्नी को टिकट दिया है तो बीजेपी ने रायगढ़ से चाय बनाने वाले को टिकट दिया है।
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अनारक्षित सीटों पर ओबीसी को टिकट
निकाय और पंचायत चुनाव के दौरान ओबीसी आरक्षण का मुद्दा बहुत गरमा रहा है। प्रदेश में आधी आबादी अन्य पिछड़ा वर्ग यानी ओबीसी की मानी जाती है। यही कारण है कि बीजेपी और कांग्रेस दोनों खुद को ओबीसी हितैषी दिखाने की कोशिश कर रही है। नए सिरे से हुए आरक्षण में ओबीसी की सीटें बढ़ने की जगह कम हो गई हैं। प्रदेश में 10 नगर निगम में चुनाव हो रहा है। इन दस सीटों में से महज बीस फीसदी ओबीसी के लिए आरक्षित हुई हैं।
इनमें से एक सीट ओबीसी की महिला के लिए है। इन सीटों पर बीजेपी ने चालीस फीसदी और कांग्रेस ने तीस फीसदी ओबीसी को टिकट दिया है। दस नगर निगम में दो सीटें बीजेपी के लिए आरक्षित हैं। इनमें बीजेपी ने चार सीटों पर ओबीसी उम्मीदवार उतारे हैं तो कांग्रेस ने तीन सीटों पर ओबीसी उम्मीदवारों को टिकट दिया है।
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दुर्ग और बिलासपुर नगर निगम ओबीसी के लिए आरक्षित हैं। बीजेपी ने इन दो नगर निगमों के अलावा राजनांदगांव और चिरमिरी की अनारक्षित सीट यानी अनारक्षित पर ओबीसी उम्मीदवार उतारे हैं। वहीं कांग्रेस ने दो आरक्षित सीटों के साथ ही अनारक्षित चिरमिरी में ओबीसी उम्मीदवार को टिकट दी है।
यानी इतना तय है कि दस नगर निगम में कम से कम तीन मेयर ओबीसी के होंगे। बीजेपी जीती तो चार मेयर ओबीसी के हो सकते हैं। बीजेपी ने पचास फीसदी टिकट ओबीसी को देने को कहा था लेकिन दिए चालीस फीसदी। वहीं कांग्रेस ने ओबीसी आरक्षण खत्म करने का राग अलापा था लेकिन तीस फीसदी को ही उम्मीदवार बनाया।
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बीजेपी के मेयर उम्मीदवार
रायपुर (सामान्य महिला ) - मीनल चौबे
दुर्ग (ओबीसी महिला) - अलका बाघमार _ ओबीसी
राजनांदगांव (सामान्य) - मधुसूदन यादव _ ओबीसी
धमतरी (सामान्य) - जगदीश रामू रोहरा
जगदलपुर (सामान्य) - संजय पांडे
रायगढ़ (अजा) - जीवर्धन चौहान
कोरबा (सामान्य महिला) - संजू देवी राजपूत
बिलासपुर (ओबीसी) - पूजा विधानी - ओबीसी
अंबिकापुर (एससी) - मंजूषा भगत
चिरमिरी (सामान्य) - रामनरेश राय - ओबीसी
कांग्रेस के मेयर उम्मीदवार
रायपुर (सामान्य महिला ) - दीप्ति प्रमोद दुबे
दुर्ग (ओबीसी महिला) - प्रेमलता पोषण साहू - ओबीसी
राजनांदगांव (सामान्य) - निखिल द्वेदी
धमतरी (सामान्य) - विजय गोलछा
जगदलपुर (सामान्य) - मलकीत सिंह गेंदू
रायगढ़ (अजा) - जानकी काटजू
कोरबा (सामान्य महिला) - उषा तिवारी
बिलासपुर (ओबीसी) - प्रमोद नायक - ओबीसी
अंबिकापुर (एससी) - अजय तिर्की
चिरमिरी (सामान्य) - डॉ विनय जायसवाल - ओबीसी
कहीं नेता पत्नी तो कहीं चायवाला बना उम्मीदवार
नगर निगम उम्मीदवारों के कुछ और रोचक तथ्य बताते हैं। रायगढ़ से बीजेपी ने चाय की गुमठी चलाने वाले जीवर्धन चौहान को उम्मीदवार बनाया है। रायगढ़ से जीवर्धन चौहान को भी स्थानीय मंत्री ओपी चौधरी के समर्थक होने का फायदा मिला। चिरमिरी बीजेपी उम्मीदवार रामनरेश राय ओबीसी हैं और उनको सामान्य सीट पर उम्मीदवार बनाया है।
रामनरेश राय स्थानीय मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल के समर्थक माने जाते हैं और इसी फैक्टर ने उनको टिकट दिलाया है। वहीं रायपुर से कांग्रेस के नेता पूर्व महापौर और पूर्व सभापति प्रमोद दुबे की पत्नी को उम्मीदवार बनाया गया है। यहां पर उनका मुकाबला नगर निगम में नेता प्रतिपक्ष रहीं मीनल चौबे से है। वहीं कांग्रेस ने जगदलपुर से अपने संगठन के प्रभारी मलकीत सिंह गेंदू को उम्मीदवार बनाया गया है।
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