BJP नेता सुरेश पिंगले पर 3.50 करोड़ की जालसाजी का केस, गुम चेक से जमीन सौदे तक-क्राइम ब्रांच की FIR ने खोले कई राज

इंदौर के बीजेपी नेता सुरेश पिंगले के खिलाफ क्राइम ब्रांच ने 3.50 करोड़ रुपए की जालसाजी का केस दर्ज किया है। यह मामला फर्जी चेक, जमीन सौदे और गुम दस्तावेजों से जुड़ा हुआ है, जिसमें कई लोग शामिल हैं।

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Rahul Dave
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CRIME BRANCH LUNCH FIR AGAINS BJP LEADER

Photograph: (the sootr)

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INDORE. बीजेपी नेता और गौसेवा भारती संस्था के अध्यक्ष सुरेश पिंगले अब गंभीर आपराधिक आरोपों में घिर गए हैं। क्राइम ब्रांच इंदौर ने उनके खिलाफ 3 करोड़ 50 लाख रुपए की जालसाजी का प्रकरण दर्ज किया है। यह कार्रवाई कोर्ट के स्पष्ट आदेश के बाद की गई है।

मामला भोपाल–रायसेन रोड की एक नामी लॉजिस्टिक कंपनी के गुम चेक से जुड़े फर्जीवाड़े का है। इस मामले में बैंकिंग सिस्टम, जमीन का एग्रीमेंट और कथित फर्जी हस्ताक्षरों की पूरी चेन सामने आई है।

गुम चेक से 3.50 करोड़ की वसूली का प्रयास

क्राइम ब्रांच ने कनाड़िया थाना क्षेत्र निवासी रमन अरोरा की शिकायत पर यह केस दर्ज किया है। आरोप है कि सुरेश पिंगले ने फर्जी तरीके से कंपनी का गुम चेक प्रस्तुत कर 3.50 करोड़ रुपए निकालने का प्रयास किया। इस प्रकरण में नरेश नरवानी और शरद दुबे की भूमिका भी संदेह के घेरे में है, जिनकी जांच जारी है।

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कंपनी, बंद खाता और अचानक कोर्ट नोटिस

शिकायतकर्ता रमन अरोरा की भोपाल–रायसेन रोड पर स्थित सर्च स्मार्ट लॉजिस्टिक नामक कंपनी है। इस कंपनी में उनकी पत्नी संगीता अरोरा निदेशक हैं। कंपनी के खाते से HDFC Bank से 50 चेक जारी किए गए थे, जिनमें से 38 का उपयोग पहले ही हो चुका था। जून 2022 में कंपनी का बैंक खाता बंद कर दिया गया था।

इसके बावजूद कुछ समय बाद रमन अरोरा के घर कोर्ट से नोटिस पहुंचा। इस नोटिस में 3.50 करोड़ रुपए का भुगतान नहीं होने पर चेक अनादर का उल्लेख था। यहीं से पूरा मामला संदिग्ध हो गया।

जमीन का एग्रीमेंट और फर्जी हस्ताक्षरों का शक

कोर्ट रिकॉर्ड की पड़ताल में सामने आया कि ग्राम पिपल्याहाना की एक बेशकीमती जमीन को लेकर संगीता अरोरा के नाम से एग्रीमेंट तैयार किया गया था। इस एग्रीमेंट में सुरेश पिंगले के साथ नरेश नरवानी और शरद दुबे के नाम दर्ज थे। एग्रीमेंट में जमीन सौदे की रकम 3.50 करोड़ रुपए दर्शाई गई थी।

शिकायतकर्ता का आरोप है कि यह एग्रीमेंट पूरी तरह फर्जी है। दस्तावेजों पर किए गए हस्ताक्षर भी असली नहीं हैं। इसी आधार पर वरिष्ठ अधिकारियों से शिकायत और फिर कोर्ट में याचिका दायर की गई।

फॉरेंसिक जांच के बाद FIR

मामले की गंभीरता को देखते हुए दस्तावेजों की फॉरेंसिक जांच कराई गई। जांच रिपोर्ट और उपलब्ध तथ्यों के आधार पर कोर्ट ने 1 दिसंबर को क्राइम ब्रांच इंदौर को एफआईआर दर्ज करने के आदेश दिए। आदेश के पालन में शनिवार को प्रकरण दर्ज कर लिया गया।

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क्राइम ब्रांच का बयान

क्राइम ब्रांच के एडिशनल डीसीपी राजेश दंडोतिया ने बताया कि बीजेपी नेता सुरेश पिंगले के खिलाफ जालसाजी का मामला दर्ज किया गया है। वहीं दो अन्य व्यक्तियों की भूमिका की गहराई से जांच की जा रही है। मामले में आगे की कार्रवाई जारी है।

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