मुख्यमंत्री पोषण मार्ट से मिलेगा किराने का सामान, एमपी की सहकारी समितियों में होगी दो हजार पदों पर भर्ती

मुख्यमंत्री पोषण मार्ट योजना से अब राशन दुकानों पर किराना सामान भी मिलेगा। किसानों के लिए राहत की घोषणा भी की गई है। साथ ही मध्य प्रदेश सरकार सहकारी संस्थाओं में दो हजार पदों पर IBPS के जरिए नियुक्तियां करेगी।

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Anjali Dwivedi
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मध्य प्रदेश सरकार ने PDS (सार्वजनिक वितरण प्रणाली) में बड़े बदलाव की योजना बनाई है। IBPS के माध्यम से सहकारी संस्थाओं में दो हजार पदों पर नियुक्तियां की जाएंगी। खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति विभाग मंत्री गोविंद सिंह राजपूत ने यह जानकारी दी। इसके साथ ही उन्होंने बताया कि मुख्यमंत्री पोषण मार्ट में सरकारी किराना स्टोर भी खोले जाएंगे। इसके बाद राशन दुकानें जनरल स्टोर की तरह दिखेंगी, जहां रोजमर्रा का सामान मिलेगा।

मुख्यमंत्री पोषण मार्ट क्या है?

मध्य प्रदेश में राशन की दुकानों पर किराना और जनरल स्टोर की तरह जरूरत की हर सामग्री मिलेगी। एमपी के खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति मंत्री गोविंद सिंह राजपूत ने बताया कि मध्यप्रदेश में पहली बार राशन दुकानों को ‘मुख्यमंत्री पोषण मार्ट’ के रूप में विकसित करने की योजना पर काम किया जा रहा है।

अब राशन दुकानों से मिलेगा रोजमर्रा का सामान

मंत्री गोविंद सिंह राजपूत ने मुख्यमंत्री पोषण मार्ट योजना के बारे में बताया है। इसके तहत अब राशन दुकानों पर केवल अनाज ही नहीं, बल्कि किराना सामान भी उपलब्ध होंगे। 

अब राशन दुकानों से दूध, तेल, मसाले, चाय जैसी रोजमर्रा की चीजें भी खरीदी जा सकेंगी। यह कदम गांवों के लोगों के लिए बहुत राहत पूर्ण साबित होगा, क्योंकि उन्हें अब छोटी-मोटी जरूरतों के लिए दूर-दराज के बाजारों तक नहीं जाना पड़ेगा।

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अस्थाई राशन कार्ड की सुविधा

खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति विभाग मंत्री गोविंद सिंह राजपूत ने मिशन 2028 का प्लान बताया। उन्होंने यह ऐलान किया कि आगामी सिंहस्थ कुंभ को देखते हुए श्रद्धालुओं और वहां काम करने वाले लोगों के लिए सरकार अस्थाई राशन कार्ड जारी करेगी। जिससे खाद्य सुरक्षा में कोई कमी न हो।

किसानों को भी मिलेगी राहत

मध्य प्रदेश सरकार ने गेहूं खरीद को लेकर भी एक बड़ी घोषणा की है। गोविंद सिंह राजपूत ने बताया कि इस सीजन में गेहूं की खरीद 2,600 रुपए प्रति क्विंटल की दर से की है। आगामी साल में गेहूं की खरीद का मूल्य 2,700 रुपए प्रति क्विंटल करने की योजना है। यह कदम किसानों के आर्थिक सशक्तिकरण की दिशा में एक महत्वपूर्ण पहल है।

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35 लाख अपात्र नाम हटाए

एमपी खाद्य विभाग ने डेटा क्लीनिंग अभियान के तहत 35 लाख अपात्र लोगों के नाम राशन दुकानों की सूची से हटा दिए हैं। इस कदम से अब केवल वास्तविक पात्र को ही योजना का लाभ मिलेगा। 

आगे उन्होंने यह भी बताया कि सरकार ने अब तक 14 लाख नई राशन पात्रता पर्चियां जारी की हैं। यह प्रक्रिया अभी भी जारी है। जितने भी पात्र व्यक्ति अब तक इस योजना से छूट गए थे, वे अपनी केवाईसी पूरी कराकर राशन दुकान से पात्रता पर्ची प्राप्त कर सकते हैं। सरकार का लक्ष्य है कि सभी पात्र परिवारों को खाद्य सुरक्षा के दायरे में लाया जाए।

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मुख्यमंत्री अन्न जागरूकता सेवा अभियान

मुख्यमंत्री अन्न जागरूकता सेवा अभियान के तहत राशन वितरण को और प्रभावी बनाने के लिए एक मोबाइल ऐप तैयार किया गया है। इस ऐप के जरिए राशन की गाड़ी की स्थिति को ट्रैक किया जा सकेगा, जिससे हितग्राहियों को राशन प्राप्ति में कोई समस्या नहीं होगी। यह पहल पारदर्शिता को सुनिश्चित करती है और वितरण प्रक्रिया को सुगम बनाती है।

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ई-केवाईसी और नॉमिनी व्यवस्था

सरकार ने ई-केवाईसी अभियान के तहत 1.7 करोड़ से ज्यादा हितग्राहियों का वेरिफिकेशन किया है। इसके साथ ही, बुजुर्गों और दिव्यांगों के लिए नॉमिनी व्यवस्था भी लागू की गई है, जिससे अब वे किसी नॉमिनी के माध्यम से राशन प्राप्त कर सकते हैं। यह व्यवस्था उन लोगों के लिए है जो तकनीकी कारणों से राशन लेने में असमर्थ हैं।

वन नेशन-वन राशन कार्ड से प्रवासियों को राहत

वन नेशन-वन राशन कार्ड योजना से प्रवासी श्रमिकों को बड़ा फायदा हुआ है। अब मध्य प्रदेश के मजदूर जो दूसरे राज्यों में काम कर रहे हैं, वहां भी राशन प्राप्त कर सकते हैं। सिर्फ 39 हजार परिवार दूसरे राज्यों से मध्यप्रदेश में राशन ले रहे हैं, जबकि 5 हजार परिवार अन्य राज्यों में रहकर राशन प्राप्त कर रहे हैं। यह योजना राष्ट्रीय एकता को बढ़ावा देती है।

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