10 दिन में दूसरे बाघ की मौत : तवा नदी में मिला शव, पंजा काटकर ले गए शिकारी

नर्मदापुरम में तवा नदी के किनारे एक बाघ का शव मिला, जिसमें एक पंजा गायब था। यह घटना शिकारी के हाथों बाघ के शिकार की प्रतीक है। 10 दिनों में यह दूसरी बाघ की मौत है। शिकारी की तलाश में टीम जुटी है, और मामले की जांच की जा रही है।

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Jitendra Shrivastava
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Photograph: (thesootr)

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नर्मदापुरम में तवा नदी के किनारे एक बाघ का शव मिला, जिसे शिकारी ने बुरी तरह शिकार किया था। बाघ का एक पंजा गायब था, जो यह संकेत देता है कि शिकारी ने जानबूझकर बाघ को शिकार बनाया और उसका पंजा काट लिया। इस घटना से वन्यजीवों की सुरक्षा पर गंभीर सवाल उठ रहे हैं।

सुरक्षा और संरक्षण पर गंभीर सवाल

यह घटना इसलिए महत्वपूर्ण है क्योंकि यह वन्यजीवों की सुरक्षा और संरक्षण की नीतियों पर गंभीर सवाल उठाती है। 10 दिन में यह दूसरा बाघ है जिसकी मौत हुई है, और ऐसे मामलों में बाघों का शिकार करना यह दर्शाता है कि शिकारियों के खिलाफ प्रभावी कार्रवाई की आवश्यकता है।

शिकारियों की तलाश में जुटी टीम

तवा नदी के बैक वाटर में बाघ का शव मिला था, जिसे वन विकास निगम (Forest Development Corporation) के क्षेत्र में स्थित नदी से निकाला गया। मृत बाघ के शव का पोस्टमॉर्टम कर दिया गया है, और अब मामले की जांच के लिए डॉग स्क्वॉड भी लगाया गया है। हालांकि, मृत बाघ के पंजे की जांच की जा रही है, जिससे यह स्पष्ट हो सके कि उसे किसने और क्यों मारा।

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पिछले महीनों में वन्यजीवों की मौत

यह घटना अकेली नहीं है। इससे पहले जून 2023 में भी शिकारी ने एक बाघ की गर्दन काटकर ले गए थे। इसी तरह, 2023 में सतपुड़ा टाइगर रिजर्व (Satpura Tiger Reserve) के भीतर एक बाघ और एक तेंदुआ की मौत हुई थी। इन घटनाओं से यह साफ है कि वन्यजीवों की सुरक्षा के उपायों में बहुत कुछ सुधार की आवश्यकता है।

शिकारियों के खिलाफ नहीं होती कार्रवाई

वन्यजीव विशेषज्ञों का कहना है कि चूरना क्षेत्र में पहले भी बाघों के शिकार के मामले सामने आ चुके हैं, लेकिन शिकारियों के खिलाफ कार्रवाई की कमी देखी गई है। इसके कारण बाघों और अन्य वन्यजीवों की संख्या में गिरावट हो रही है। वन्यजीव संरक्षण और सुरक्षा को लेकर विशेष ध्यान देने की आवश्यकता है।

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क्या कहना है अधिकारियों का?

डिप्टी डायरेक्टर ऋषभा नेताम ने बताया कि यह शव वन विकास निगम की सीमा में मिला है, लेकिन जांच जारी है। उन्होंने कहा कि मृत बाघ को नदी में फेंका गया या वह वहां से बहकर आया, इसकी जानकारी अभी जुटाई जा रही है। अधिकारियों ने मामले की गंभीरता को स्वीकार करते हुए इसे प्राथमिकता के आधार पर जांचने का वादा किया है।

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