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Photograph: (The Sootr)
ऑपरेशन सिंदूर के बाद से राजस्थान-पाकिस्तान सीमा (Pakistan Border) पर सुरक्षा एजेंसियां पूरी तरह से सतर्क हो गई हैं। सुरक्षा एजेंसियों ने बॉर्डर के आसपास के इलाकों में संदिग्ध गतिविधियों पर निगरानी बढ़ा दी है। जैसलमेर में सीमा सुरक्षा बल (BSF) ने एक संदिग्ध युवक को गिरफ्तार किया। युवक का नाम लालचंद शेख (30) था और वह पश्चिम बंगाल के वर्धमान जिले का रहने वाला था। उसने पाकिस्तान से होते हुए सऊदी अरब जाने की योजना बनाई थी।
गिरफ्तारी के दौरान, लालचंद शेख ने पुलिस पूछताछ में खुलासा किया कि वह पाकिस्तान के रास्ते सऊदी अरब जाने का इच्छुक था, क्योंकि उसका भाई वहां मजदूरी करता है। सुरक्षा एजेंसियों ने उसे जैसलमेर जिले की म्याजलार थाना पुलिस को सौंप दिया है, और अब संयुक्त जांच कमेटी उसकी जांच करेगी।
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जैसलमेर में बढ़ रही जासूसी गतिविधियां
जैसलमेर और आसपास के इलाकों में सुरक्षा एजेंसियों को पिछले कुछ महीनों में कई जासूसों की गतिविधियों के बारे में जानकारी मिली है। इन जासूसों को गिरफ्तार किया गया और उनके पास से कई महत्वपूर्ण जानकारी हासिल की गई। इस संदर्भ में, सूत्रों ने बताया कि लालचंद शेख के गिरफ्तार होने के बाद मिली जानकारी की जांच की जा रही है। राजस्थान जासूसी मामला चर्चाओं में है।
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इस साल जैसलमेर में पकड़े गए पाकिस्तानी जासूस26 मार्च 2025 - पठान खान की गिरफ्तारी26 मार्च 2025 को, राजस्थान इंटेलिजेंस ने चांधन फील्ड फायरिंग रेंज के पास करमों की ढाणी निवासी पठान खान को ऑफिशियल सीक्रेट एक्ट के तहत गिरफ्तार किया। पठान खान को पहलगांव आतंकी हमले से पहले गिरफ्तार किया गया था। इस गिरफ्तारी से राजस्थान के इंटेलिजेंस विभाग को काफी महत्वपूर्ण जानकारी मिली थी। 28 मई 2025 - शकूर खान की गिरफ्तारी28 मई 2025 को, राजस्थान इंटेलिजेंस ने पाकिस्तान के लिए जासूसी करने के आरोप में सरकारी कर्मचारी और कांग्रेस के पूर्व मंत्री के निजी सहायक शकूर खान को डिटेन किया। 3 जून 2025 को उसे गिरफ्तार कर लिया गया। यह गिरफ्तारी राजस्थान में पाकिस्तानी जासूस नेटवर्क के खिलाफ एक बड़ी कार्रवाई मानी जा रही थी। 4 अगस्त 2025 - महेंद्र प्रसाद की गिरफ्तारी4 अगस्त 2025 को जैसलमेर में DRDO (Defence Research and Development Organisation) के गेस्ट हाउस मैनेजर महेंद्र प्रसाद को पाकिस्तानी हैंडलर को भारतीय सेना की खुफिया जानकारी भेजने के आरोप में गिरफ्तार किया गया। महेंद्र प्रसाद के पास से सुरक्षा से संबंधित कई महत्वपूर्ण दस्तावेज भी बरामद हुए थे। इस गिरफ्तारी ने सुरक्षा एजेंसियों की मुस्तैदी को और मजबूत किया। 20 अगस्त 2025 - जीवन खान गिरफ्तारजांच एजेंसियों ने जैसलमेर में जासूसी के आरोप में एक संदिग्ध जीवन खान को पकड़ा। यह ऑपरेशन जैसलमेर-जोधपुर रोड पर आर्मी एरिया में हुआ। आरोपी यहां एक रेस्टोरेंट में काम करने आया था। | |
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पाकिस्तान सीमा पर बढ़ती घुसपैठ की कोशिशें
ऑपरेशन सिंदूर के बाद, पाकिस्तान (Pakistan) से लगते राजस्थान के बॉर्डर (Border) क्षेत्र में घुसपैठ की कोशिशों में इजाफा हुआ है। सुरक्षा एजेंसियों का दावा है कि पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी ISI (Inter-Services Intelligence) भारत में अपनी जासूसी गतिविधियों को बढ़ा रही है। इन गतिविधियों का मकसद भारतीय सैनिकों की जानकारी प्राप्त करना और सीमा पार आतंकवाद को बढ़ावा देना है।
राजस्थान पुलिस और सीमा सुरक्षा बल (BSF) ने इन घुसपैठियों को पकड़ने के लिए कई महत्वपूर्ण कदम उठाए हैं। कई पाकिस्तानी जासूस गिरफ्तार किए हैं। इन कार्रवाइयों से पाकिस्तानी एजेंटों और आतंकवादियों के नेटवर्क को नष्ट करने में मदद मिल रही है।
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भारत में जासूसों से पाकिस्तान क्या जानकारी प्राप्त करना चाहता है?
सेना का मूवमेंट और सैन्य ठिकाने
पाकिस्तान के खुफिया एजेंट युद्ध के समय सेना की मूवमेंट, सैन्य ठिकानों की जानकारी, तैनाती, फेंसिंग और बीओपी (बॉर्डर आउटपोस्ट) की लोकेशन जैसी जानकारियां प्राप्त करना चाहते हैं। यह जानकारी पाकिस्तान को भारतीय सेना के खिलाफ रणनीति तैयार करने में मदद करती है।
सैन्य निर्माण और इन्फ्रास्ट्रक्चर
पाकिस्तानी एजेंटों के लिए, सैन्य ठिकानों के अलावा, ब्रिजों, सैन्य सड़कों, अंडरब्रिज, ओवरब्रिज और अंतर्राष्ट्रीय सीमा से जुड़े अन्य निर्माण कार्य की जानकारी भी महत्वपूर्ण होती है। इन क्षेत्रों के निर्माण से जुड़े डिटेल्स की तस्वीरें और लोकेशन की जानकारी पाकिस्तान के जासूस इकट्ठा करते हैं और अपने हैंडलरों को भेजते हैं।
स्कूल, हॉस्टल और अन्य प्रशासनिक भवन
आर्मी एरिया में स्थित स्कूलों, हॉस्टलों और अन्य प्रशासनिक भवनों की लोकेशन और उनकी तस्वीरें पाकिस्तानी खुफिया एजेंटों द्वारा इकट्ठी की जाती हैं। ये एजेंट इस प्रकार के महत्वपूर्ण डेटा को साझा करते हैं, ताकि पाकिस्तान अपनी सैन्य रणनीति में इन जानकारियों का उपयोग कर सके।
मोबाइल टावर और उनकी लोकेशन
सीमावर्ती क्षेत्रों में स्थापित मोबाइल टावरों की लोकेशन, उनकी तस्वीरें, और उनकी कार्यक्षमता भी जासूस पाकिस्तान के एजेंटों को भेजते हैं। इन टावरों से जुड़े डेटा को भी वे अपने देश की खुफिया एजेंसियों को देते हैं, ताकि पाकिस्तान के लिए इनका रणनीतिक उपयोग किया जा सके।
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