पुलिस चोरी रोकने सराफा व्यापारियों के गले डाल रही उम्र कैद की सजा

Raipur bullion traders : पहली बार सराफा कारोबारियों के खिलाफ ऐसी धाराओं में केस दर्ज किया गया है, जिसमें उम्र कैद तक की सजा होगी। इससे पहले सजा बरामद किए गए चोरी के माल के आधार पर तय होती थी।

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Marut raj
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Section 317 of BNS imposed on bullion traders in Raipur : चोरी, लूट की वारदातों पर लगाम लगाने के लिए छत्तीसगढ़ में पहली बार सराफा व्यापारियों पर प्रेशर बनाया जा रहा है। प्रेशर भी ऐसा- वैसा नहीं, सीधे उम्र कैद वाला है। जिस हिसाब से पुलिस ने पिछले दिनों सराफा व्यापारियों पर केस दर्ज किए हैं, उससे यह साफ है कि पुलिस चोरी करने वालों से ज्यादा चोरी का माल खरीदने वालों पर सख्त हो रही है। छत्तीसगढ़ में पहली बार सराफा कारोबारियों के खिलाफ ऐसी धाराओं में केस दर्ज किया गया है, जिसमें उम्र कैद तक की सजा होगी।

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संगठित अपराध की धाराओं के तहत कार्रवाई

चोरी का माल खरीदने वालों पर पुलिस ने पहली बार संगठित अपराध की धाराओं के तहत कार्रवाई की है। पुलिस ने चोर गिरोह से जुड़े तीन सराफा व्यापारियों पर बीएनएस की धारा 317 के तहत कार्रवाई की है। इस मामले में उम्र कैद तक की सजा का प्रावधान है।

ये तीन सराफा व्यापारी हैं मुंगेली के जयकुमार सोनी, तख्तपुर के राजेश कुमार सोनी और रायपुर के भूषण कुमार के खिलाफ बीएनएस की धारा के तहत केस दर्ज किया गया है। पुलिस ने चोरी का माल कमीशन लेकर बिकवाने वाले पांच और आरोपियों के खिलाफ भी बीएनएस की धारा के तहत केस दर्ज किया है। 

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पहले इन धाराओं के तहत होती थी कार्रवाई

पहले चोरी का माल खरीदने वालों पर आईपीसी की धारा 411 के तहत कार्रवाई की जाती थी। इसमें सजा चोर से बरामद किए गए माल के आधार पर तय होती थी, लेकिन नए कानून के मुताबिक धारा 411 की जगह धारा 317 का प्रावधान किया गया है। इसमें उम्र कैद की सजा के साथ ही जुर्माने का भी प्रावधान है। 

दो साल में ये रहा रायपुर में अपराधों का आंकड़ा

छत्तीसगढ़ में लूट और चोरी के लिए की गई चाकूबाजी, मारपीट तथा नकबजनी की वारदातें लगातार बढ़ती जा रही हैं। अकेले राजधानी रायपुर में ही इन अपराधियों के हौंसले बुलंद हैं। यही कारण है कि पुलिस चोरों के साथ साथ सराफा व्यापारियों पर भी दबिश डाल रही है। 

राजधानी में इन वारदातों का आंकड़ा

मारपीट 5645
चोरी नकबजनी 3367
चाकूबाजी 0273
टोटल 9285

सरकार के सामने इस तरह के अपराधों को रोकना बड़ी चुनौती है। यही कारण है कि सरकार ने सख्त कार्रवाई करने के लिए पुलिस को फ्री हैंड दे दिया है।

FAQ

बीएनएस की धारा 317 के तहत सराफा व्यापारियों पर कार्रवाई क्यों की गई है ?
छत्तीसगढ़ में चोरी और लूट की घटनाओं पर लगाम लगाने के लिए पुलिस ने पहली बार बीएनएस की धारा 317 के तहत सराफा व्यापारियों पर कार्रवाई की है। इन व्यापारियों पर आरोप है कि वे चोरी का माल खरीदकर उसे आगे बेचने में शामिल हैं। यह धारा संगठित अपराध से संबंधित है, जिसमें उम्र कैद और जुर्माने की सजा का प्रावधान है।
पहले चोरी का माल खरीदने वालों पर कौन सी धारा लगाई जाती थी और अब क्या बदलाव किया गया है ?
पहले चोरी का माल खरीदने वालों पर आईपीसी की धारा 411 के तहत कार्रवाई की जाती थी, जिसमें सजा चोरी के माल की बरामदगी पर आधारित होती थी। लेकिन अब बीएनएस की धारा 317 लागू की गई है, जिसमें उम्र कैद और जुर्माने का प्रावधान है। यह कानून अधिक सख्त है और संगठित अपराधों को रोकने के लिए लागू किया गया है।
रायपुर में पिछले दो सालों में लूट और चोरी से संबंधित अपराधों का क्या आंकड़ा है ?
पिछले दो सालों में रायपुर में लूट और चोरी से संबंधित अपराध बढ़े हैं। इनका आंकड़ा निम्नलिखित है: मारपीट: 5645 मामले चोरी और नकबजनी: 3367 मामले चाकूबाजी: 273 मामले कुल मिलाकर 9285 मामले दर्ज किए गए हैं।

 

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